एसटीईटी अभ्यर्थियों ने परीक्षा तिथियों की घोषणा और ऑनलाइन आवेदन फिर से शुरू करने की मांग को लेकर पटना स्थित बीएसईबी मुख्यालय के बाहर प्रदर्शन किया। पुलिस और प्रशासन से बातचीत के बाद उन्हें आश्वासन दिया गया कि 21 सितंबर को पोर्टल फिर से खुल जाएगा।
बिहार में STET (शिक्षक पात्रता परीक्षा) को लेकर लंबे समय से अभ्यर्थियों की बेचैनी अब सड़क पर दिखने लगी है। सोमवार को बड़ी संख्या में अभ्यर्थी पटना स्थित बिहार विद्यालय परीक्षा समिति (BSEB) मुख्यालय पहुंच गए और वहां जोरदार प्रदर्शन किया। अभ्यर्थियों का आरोप था कि बोर्ड परीक्षा को लेकर लगातार टालमटोल कर रहा है, जबकि लाखों छात्र-छात्राएं नौकरी की उम्मीद से इस परीक्षा का इंतजार कर रहे हैं।
प्रदर्शनकारियों की प्रमुख मांग थी कि STET परीक्षा की तारीख जल्द घोषित की जाए और ऑनलाइन फॉर्म का लिंक तुरंत सार्वजनिक किया जाए। उनका कहना था कि कई बार आश्वासन दिए गए लेकिन अब तक पोर्टल नहीं खुला। इस वजह से तैयारी करने वाले छात्रों का भविष्य अधर में लटका हुआ है।
अचानक प्रदर्शनकारियों की भीड़ मुख्यालय गेट तक पहुंच गई और नारेबाज़ी शुरू कर दी। हालात बिगड़ने से पहले ही पुलिस मौके पर पहुंची और प्रदर्शनकारियों को रोकने की कोशिश की। कुछ देर तक पुलिस और छात्रों के बीच तीखी बहस चली। मौके की नजाकत को देखते हुए प्रशासन ने अतिरिक्त पुलिस बल तैनात कर दिया। हालांकि बाद में बोर्ड अधिकारियों और पुलिस ने छात्रों से बातचीत की। बातचीत के बाद यह आश्वासन दिया गया कि 21 तारीख से पोर्टल खोल दिया जाएगा और लिंक जारी होगा।
गौरतलब है कि STET परीक्षा बिहार में शिक्षकों की बहाली के लिए अनिवार्य है। पिछले कुछ वर्षों से इस परीक्षा के आयोजन और रिजल्ट को लेकर कई बार विवाद और विलंब सामने आ चुके हैं। साल 2019 और 2020 में भी परीक्षा प्रक्रिया को लेकर भारी विवाद हुआ था। कई बार कोर्ट केस तक की नौबत आई और परीक्षा रद्द करनी पड़ी। अभ्यर्थियों का कहना है कि वे लगातार आंदोलन कर रहे हैं, लेकिन सरकार और बोर्ड सिर्फ तारीख बढ़ाने और आश्वासन देने तक सीमित हैं। इस वजह से कई उम्मीदवार उम्र सीमा पार कर रहे हैं और सरकारी नौकरी का मौका हाथ से निकलने का डर सता रहा है।
सोमवार के प्रदर्शन के दौरान पुलिस और बोर्ड अधिकारियों ने छात्रों से संवाद स्थापित किया। लंबी वार्ता के बाद छात्रों को लिखित और मौखिक रूप से आश्वासन मिला कि 21 सितंबर से पोर्टल सार्वजनिक किया जाएगा। इस पर फिलहाल छात्रों ने अपना आंदोलन स्थगित कर दिया और शांतिपूर्ण तरीके से लौट गए। हालांकि छात्र संगठनों ने साफ चेतावनी दी है कि अगर तय तारीख तक पोर्टल नहीं खुला, तो वे फिर से बड़े पैमाने पर आंदोलन करेंगे और इस बार पूरे बिहार में जिला स्तर पर प्रदर्शन करेंगे।