बिहार में ताड़ी पीने वालों के लिए खुशखबरी है। तेजस्वी यादव ने साफ कह दिया है कि यदि उनकी सरकार बनी तो ताड़ी पर से लगे प्रतिबंध को हटा दिया जाएगा। उन्होंने पार्टी की चुनावी रैली में कहा कि ताड़ी को शराबबंदी कानून से बाहर कर इसे उद्योग का दर्जा दिया जाएगा।
बिहार विधानसभा चुनाव से ठीक पहले नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने मंगलवार को एक बड़ा चुनावी दांव चला है। सारण जिले के परसा में आयोजित जनसभा में तेजस्वी यादव ने घोषणा की कि अगर महागठबंधन की सरकार बनती है, तो राज्य में ताड़ी (ताड़ के पेड़ से निकलने वाला रस ) पर लगे प्रतिबंध को हटा दिया जाएगा। तेजस्वी ने कहा कि बिहार की शराबबंदी नीति पूरी तरह असफल साबित हुई है। उन्होंने आरोप लगाया कि शराबबंदी के नाम पर गरीबों और दलितों को जेल भेजा जा रहा है, जबकि अमीरों के घर तक शराब की होम डिलीवरी हो रही है।
तेजस्वी यादव ने बिहार की शराबबंदी नीति (Bihar Prohibition and Excise Act) को पाखंडी और दोहरे चरित्र वाली नीति बताया। उन्होंने कहा कि बिहार में शराबबंदी कानून का सबसे ज्यादा नुकसान गरीब और दलित तबके को हो रहा है। उन्होंने मंच से कहा, “बिहार में शराबबंदी का ढोंग चल रहा है। घर-घर शराब की डिलीवरी हो रही है। गरीब ताड़ी बेचने वाले जेल में हैं, और बड़े शराब माफिया सरकार की छत्रछाया में पल रहे हैं।”
तेजस्वी ने आगे जोड़ते हुए कहा, “हमारी सरकार आई तो ताड़ी पर से बैन हटेगा। ताड़ी बिहार की परंपरा और संस्कृति से जुड़ी है, इसे अपराध बनाना गलत है।”
सारण के मढ़हौरा में हुई दूसरी जनसभा में तेजस्वी यादव ने NDA सरकार पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा, “NDA ने 20 साल में बिहार का जो हाल किया, हम 20 महीने में सुधार देंगे।” तेजस्वी ने कहा कि बिहार को ऐसे नेता की जरूरत है जो सिर्फ भाषण नहीं, समाधान दे। उन्होंने लोगों से अपील की कि इस बार बिहार के भविष्य के लिए महागठबंधन को मौका दें।
तेजस्वी यादव ने नीतीश कुमार सरकार को कानून व्यवस्था पर घेरते हुए कहा कि बिहार में हर दिन हत्या, लूट और अपहरण की घटनाएं हो रही हैं, लेकिन मुख्यमंत्री को फर्क नहीं पड़ता। उन्होंने कहा कि सारण में लगातार अपराध की घटनाएं हो रही हैं, लेकिन मुख्यमंत्री न तो घटनास्थल जाते हैं और न पीड़ितों से मिलने की जहमत उठाते हैं। ये सरकार पूरी तरह असंवेदनशील हो चुकी है।
रैली में तेजस्वी यादव ने अपने पुराने वादे को दोहराया कि अगर महागठबंधन सत्ता में आता है, तो हर परिवार को एक सरकारी नौकरी दी जाएगी। उन्होंने कहा, “बिहार के लोग बेरोजगारी, महंगाई और पलायन से तंग आ चुके हैं। अब वक्त है ऐसी सरकार का जो ‘पढ़ाई, दवाई, कमाई, सिंचाई’ की गारंटी दे।”