CG News: रायपुर में वन विभाग मोबाइल के जरिए फिल्ड से गायब रहने वाली टीम की निगरानी करेगा। इसकी खरीदी करने के बाद जंगलों में गश्त करने वाली टीम को इसे वितरित किया जाएगा।
CG News: छत्तीसगढ़ के रायपुर में वन विभाग मोबाइल के जरिए फिल्ड से गायब रहने वाली टीम की निगरानी करेगा। पिछले काफी समय से शिकायत मिलने के बाद 3.75 लाख रुपए का मोबाइल खरीदने का निर्णय लिया गया है। उदंती-सीतानदी टाइगर रिजर्व के उपनिदेशक द्वारा इसके लिए 23 दिसंबर को निविदा जारी की गई है। इसकी खरीदी करने के बाद जंगलों में गश्त करने वाली टीम को इसे वितरित किया जाएगा।
CG News: साथ ही उनके लोकेशन और संबंधित क्षेत्र में जाने पर उसके लोकेशन को ऐप में दर्ज किया जाएगा। बताया जाता है कि घर में बैठकर ड्यूटी करने और आराम फरमाने वालों को चिन्हांकित करने के लिए इसकी कवायद की जा रही है। बता दें कि यूएसटीआर की गिनती संवेदनशील वनक्षेत्र के रूप में होती है।
फिल्ड में अमले के गायब होने से पड़ोसी राज्य ओडिशा के ग्रामीण और शिकारियों का गिरोह वन्य प्राणियों के शिकार एवं वनों की अवैध कटाई करने के साथ कब्जा करने बड़ी संया में पहुंचते हैं। इसे देखते हुए फील्ड से गायब रहने वाले वनकर्मियों को मोबाइल देने की योजना बनाई है।
फील्ड के साथ मैदानी क्षेत्र में काम करने वाले कर्मियों के साथ अफसरों को एम-स्ट्रीप के माध्यम से फोटो खिंचकर ऐप में अपलोड करेंगे। नेटवर्क नहीं होने के बाद भी अंक्षास-देशांस और लोकेशन लोड होगा। नेटवर्क क्षेत्र में आने पर टाइमिंग, दिन और तिथि की जानकारी स्वयं ही दिखाएगा। वन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि 5 साल पहले भी फिल्ड में तैनात अमले को मोबाइल दिया गया था। लेकिन, कुछ समय बाद ही मोबाइल खराब होने, चोरी चले जाने और साटवेयर के नहीं होने के वनकर्मियों का लोकेशन ट्रेस नहीं हो पा रहा था।
फिल्ड में नहीं जाने वाले कर्मचारियों को मोबाइल दिए जाने पर बहानेबाजी और घर बैठकर आराम फरमाने वाले नियमित रूप से गश्त करेंगे। उनकी आमदरत से सुरक्षा घेरा बढ़ने से तस्करो और वन भूमि पर होने वाले कब्जे को रोकने में मदद मिलेगी। बताया जाता है कि मोबाइल वितरण करने के बाद सभी को टारगेट दिया जाएगा। साथ ही ड्यूटी पाइंट तय किया जाएगा।
उदंती-सीतानदी टाइगर रिजर्व गरियाबंद के उपनिदेश वरूण जैन ने कहा की कमोबाइल की खरीदी करने के लिए निविदा जारी की गई है। सभी औपचारिकता पूरी करने वाले संबंधित डीलर या कंपनी से खरीदी करने के बाद इसे वनकर्मियों को वितरित किया जाएगा।