CG News: राजधानी में डॉग बाइट की कई घटनाएं हो चुकी हैं। इस पर काबू पाने और सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर अमल करने को लेकर नगर निगम ने तैयारियां तेज कर दी है।
CG News: छत्तीसगढ़ के रायपुर में आवारा और खूंखार कुत्तों के झुंड से पूरा शहर परेशान है। राजधानी में डॉग बाइट की कई घटनाएं हो चुकी हैं। इस पर काबू पाने और सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर अमल करने को लेकर नगर निगम ने तैयारियां तेज कर दी है। नगर निगम के 10 जोन में आवारा कुत्तों को खिलाने-पिलाने के लिए निश्चित जगह तय करते हुए 70 फीडिंग जोन बनाना तय किया है।
उस जगह पोस्टर लगाया जा रहा है, ताकि लोग उस जगह पर बचा हुआ खाना डाल सकें। इसके साथ ही सोनडोंगरी में बन कर तैयार डॉग शेल्टर हाउस में अब दो अलग-अलग बाड़ा बनाना भी तय किया है। एक में आवारा कुत्तों को और दूसरे में खूंखार, बीमार और घायल कुत्तों को रखने की योजना है।
शहर की कॉलोनियों, मोहल्लों और सड़क किनारे बस्तियों के आसपास आवारा कुत्ते ज्यादा सक्रिय रहते हैं। नगर निगम का बधियाकरण अभियान काफी धीमी गति से चलने के कारण आवारा कुत्तों की संया लगातार बढ़ती जा रही है। इस पर निगम काबू नहीं कर पाया है। यही वजह है कि सभी जगह झुंड के झुंड में कुत्ते दिखाई देते हैं।
लोगों में आवारा कुत्तों को लेकर हमेशा डर का माहौल रहता है। खासकर छोटे बच्चों पर कुत्ते कब झपट्टा मारकर नोंच डाले, कुछ कहा नहीं जा सकता है। ऐसी दो दर्जन से ज्यादा घटनाएं पिछले पांच से छह महीने में हो चुकी हैं। सड्डू में तो खेलते हुए बच्चे को दो सौ मीटर तक घसीटकर कचरे के ढेर में कुत्तों ने नोंच डाले थे।
रात के समय में यह खतरा दोगुना बढ़ जाता है। जैसे ही बाइक वाले निकलते हैं तो अचानक कुत्ते दौड़ पड़ते हैं। इससे बैलेंस बिगड़ने से लोगों के घायल होने का खतरा हमेशा रहता है। वहीं कार वालों की चपेट में आने से कुत्ते घायल होकर ज्यादा खूंखार हो जाते हैं। राजधानी में करीब 10 हजार से ज्यादा आवारा कुत्ते हैं। रात के समय यह झुंड में हमला कर देते हैं।
नगर निगम ने सोनडोंगरी में करीब दो एकड़ क्षेत्र में डॉग शेल्टर हाउस का निर्माण घायल, बीमार और खूंखार कुत्तों को रखने के लिए बनाया था, लेकिन अब सुप्रीम कोर्ट का आदेश आने पर इसी जगह पर दो बाड़ा बनाना तय किया है ताकि दोनों तरह के कुत्तों को रखा जा सकता है।
निगम के अधिकारियों के अनुसार पहले 200 कुत्तों का रखने के हिसाब से काम हुआ था, अब उसका विस्तार किया जाएगा। इस डॉग शेल्टर को चलाने के लिए एनजीओ नियुक्त करने की प्रक्रिया अंतिम चरण में है। दो पशु चिकित्सकों की पदस्थापना के लिए प्रस्ताव शासन को भेजा गया है। डॉग शेल्टर हाउस जल्द शुरू हो जाएगा।
A मुय रूप से तीन-चार बिंदुओं की गाइडलाइन पर काम करना है। काम शुरू कर दिया है। निगम क्षेत्र में 70 स्थानों पर फीडिंग जोन की जगह तय की गई। जहां जानवर प्रेमी खाना-पानी की सेवा दे सकेंगे। अन्य जगहों पर खाना खिलाने वालों के खिलाफ निगम जुर्माना की कार्रवाई करेगा।
A सर्वे नहीं हुआ है। एक अनुमान के मुताबिक 10 से 15 हजार के करीब आवारा कुत्ते निगम क्षेत्र में हैं। बैरनबाजार में निगम का सेंटर है, जहां हर दिन 8 से 10 कुत्तों का बधियाकरण किया जा रहा है। दो दिन रखकर जहां से पकड़ते हैं, वहीं छोड़ देते हैं।
A सोनडोंगरी में डॉग शेल्टर होम बनकर तैयार है। संचालन की जिमेदारी एनजीओ को देनी है। यह प्रक्रिया चल रही है। पहले इस सेंटर में खूंखार, घायल और बीमार कुत्तों को रखने का था, लेकिन अब दो बाड़ा बना रहे हैं। स्कूल और अस्पताल परिसरों से पकड़कर इसी सेंटर में रखने की व्यवस्था बना रहे हैं।