विदेश

कश्मीर में आतंकी हमले पर UN में खुली पाकिस्तान की पोल, भारत ने किया बड़ा खुलासा

Kashmir Terrorism Pakistan UN: संयुक्त राष्ट्र में भारत ने पाकिस्तान द्वारा कश्मीर में आतंकवाद को समर्थन देने का कड़ा विरोध किया।

2 min read
Sep 24, 2025
ECO-FAWN सोसाइटी के प्रतिनिधि शाह फैसल मोहम्मद। (फोटो: एएनआई)

Kashmir Terrorism Pakistan UN: संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (UNHRC) के 60वें सत्र के दौरान कश्मीर में हुए आतंकी हमले को लेकर भारत ने पाकिस्तान की भूमिका का कड़ा विरोध किया है। ECO-FAWN संस्था के प्रतिनिधि शाह फैसल मोहम्मद (Shah Faisal Mohammad) ने परिषद में यह मुद्दा उठाते हुए कहा कि 22 अप्रेल को पहलगाम में हुआ आतंकी हमला सिर्फ एक वारदात नहीं, बल्कि मानवाधिकारों और अंतरराष्ट्रीय कानूनों का घोर उल्लंघन (Kashmir Terrorism Pakistan UN) है। शाह फैसल ने बताया कि इस हमले में निर्दोष नागरिकों को केवल इसलिए निशाना बनाया गया। क्योंकि वे अपनी मौलिक आज़ादी, धार्मिक स्वतंत्रता और आवागमन के अधिकार का इस्तेमाल कर रहे थे। उनका कहना था कि ऐसी घटनाएं सुनियोजित तरीके से की जा रही हैं, ताकि समाज में डर फैलाया जा सके और क्षेत्र की शांति खत्म की जा सके।

आतंक और मानवाधिकार एक साथ नहीं चल सकते

शाह ने कहा, "मानवाधिकार और आतंकवाद साथ नहीं रह सकते।" उन्होंने चेतावनी दी कि इस तरह की हिंसा का मकसद न सिर्फ शांति भंग करना है, बल्कि समाज को बांटना और लोगों की आज़ादी कुचलना भी है। उन्होंने यह भी बताया कि यह हमले सिर्फ हथियारों से नहीं, बल्कि एक सोची-समझी रणनीति के तहत किए जा रहे हैं।

भारत ने दुनिया से की सख्त कार्रवाई की मांग

भारत ने संयुक्त राष्ट्र परिषद से अपील की कि वह आतंकवाद को समर्थन देने वाले देशों और नेटवर्क के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करे। इसमें सीमा पार से हो रही फंडिंग, आतंकियों के लिए चल रहे प्रशिक्षण शिविर, प्रचार-प्रसार के वैचारिक नेटवर्क और उन्हें राजनीतिक संरक्षण देने वाली नीतियों पर रोक लगाने की मांग की गई। भारत ने साफ कहा कि किसी भी आतंकी संगठन को न सेफ ज़ोन, न मीडिया प्लेटफॉर्म, और न ही राजनीतिक सहारा मिलना चाहिए।

हमलावरों को बेनकाब और प्रतिबंधित करने की अपील

शाह ने सभी सदस्य देशों से अपील की कि वे हमलावरों और उनके समर्थकों की तलाशी करें, उन्हें बेनकाब करें और उन पर प्रतिबंध लगाएं। भारत ने चेतावनी दी कि अगर दुनिया ने आतंकवाद पर चुप्पी साधी या उदासीनता दिखाई, तो इससे उग्रवाद और हिंसा को और बल मिलेगा।

जम्मू-कश्मीर के बहुलवादी स्वरूप को खत्म करने की कोशिश

भारत ने जम्मू-कश्मीर के धर्मनिरपेक्ष और समावेशी चरित्र पर प्रकाश डालते हुए कहा कि ऐसे आतंकी हमलों का मकसद इस सदियों पुराने समाज के ताने-बाने को तोड़ना है। वर्तमान में जब कश्मीर क्षेत्र विकास और बदलाव की ओर बढ़ रहा है, तब ये हमले वहां की स्थिरता को खत्म करने की कोशिश हैं।

भारत के नागरिकों को चाहिए शांति और सुरक्षा

अपनी अपील में शाह फैसल मोहम्मद ने कहा, “भारत के लोग डर के साए के बिना जीने का अधिकार रखते हैं।” उन्होंने यह भी कहा कि दुनिया को ऐसे तत्वों के खिलाफ एकजुट होकर खड़ा होना होगा, जो मानवाधिकारों और स्थिरता को कमजोर कर रहे हैं।

आतंकी नेटवर्क जड़ से खत्म करें

बहरहाल संयुक्त राष्ट्र मंच पर भारत ने पाकिस्तान की ओर से आतंकवाद को समर्थन देने के आरोप मजबूती से रखे और अंतरराष्ट्रीय समुदाय से मांग की कि ऐसे नेटवर्क को पूरी तरह से जड़ से खत्म किया जाए। साथ ही यह भी दोहराया कि कश्मीर में शांति, विकास और नागरिकों की सुरक्षा में किसी भी तरह की रुकावट बर्दाश्त नहीं की जाएगी। (एएनआई)

Also Read
View All

अगली खबर