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ये रिश्ता क्या कहलाता है? डोनाल्ड ट्रंप का क्रिप्टो वेंचर यूज़ कर रहे हैं हमास, हिजबुल्लाह जैसे आतंकी संगठन 

Donald Trump: विशेषज्ञों ने ईरान समर्थित आतंकियों के ट्रंप के क्रिप्टो वेंचर में साझेदारी की खबर को लेकर चिंता जताई है।

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Terror Group like Hamas Hezbollah uses Donald Trump Crypto Venture

Donald Trump: अमेरिका के नव निर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप नए क्रिप्टो वेंचर को लेकर चर्चा में हैं। दरअसल ट्रंप और उनके नए मध्य-पूर्व दूत (Middle East) अरबपति स्टीव विटकॉफ की ओर से हाल ही लॉन्च किए गए वर्ल्ड लिबर्टी फाइनेंशियल इंक ने ऐसे क्रिप्टो प्लेटफॉर्म (ट्रॉन) के साथ साझेदारी की है, जिसके बारे में कहा जाता है कि इसका इस्तेमाल ईरान (Iran) समर्थित आतंकवादी समूह हमास और हिजबुल्लाह कर रहे हैं। अमेरिकी सरकार के विशेषज्ञों का कहना है कि नवंबर में अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव से 2 महीने पहले विटकॉफ परिवार की तरफ से स्थापित वर्ल्ड लिबर्टी नैतिकता और हितों के टकराव को लेकर चिंता पैदा करने वाली है क्योंकि ट्रंप इसके वित्तीय लाभार्थी हैं।

बिटकॉइन से भी तेज ट्रॉन का नेटवर्क

2023 में वित्तीय अपराध विशेषज्ञों ने बताया कि बिटकॉइन की तुलना में तेज और सस्ते ट्रॉन का नेटवर्क इजरायल, अमरीका और अन्य देशों में कुछ आतंकी समूहों के बीच तेजी से चलन में आया है। 2021 से इजरायली सुरक्षा सेवाओं की ओर से क्रिप्टो जब्ती में आतंकियों के ट्रॉन उपयोग की बातें सामने आईं। इसमें हमास भी प्रमुख रूप से शामिल था। अब वल्र्ड लिबर्टी और ट्रॉन के बीच साझेदारी से विशेषज्ञ चिंता मेें हैं।

आतंकियों के यूज करने पर नहीं दिया कोई जवाब

ट्रॉन ने पिछले महीने ही घोषणा की थी कि वे वर्ल्ड लिबर्टी में 30 मिलियन डॉलर का निवेश कर रहा है। इतना ही नहीं ट्रॉन के संस्थापक चीनी मूल के जस्टिन सन, ट्रंप-विटकॉफ के उद्यम में सलाहकार के रूप में शामिल होंगे। ट्रॉन ने बताया कि उसकी तकनीक ने वैध यूजर और अवेध उद्देश्यों वाले दोनों तरह के लोगों को आकर्षित किया है, लेकिन आतंकवादियों के उपयोग पर जवाब नहीं दिया। बहरहाल, ट्रंप के वल्र्ड लिबर्टी और ट्रॉन के निवेश ने नैतिकता विशेषज्ञों के बीच चिंता पैदा कर दी है। सेंट लुई के वाशिंगटन विवि में प्रोफेसर कैथलीन क्लार्क ने कहा, इसमें हर जगह खतरे के निशान हैं।

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