Donald Trump ready to take revenge on Elon Musk: डोनाल्ड ट्रंप ने एलन मस्क को डिपोर्ट करने की धमकी दी है और कहा कि वे "कानून देखेंगे।"
Trump threatens Elon Musk deportation: अमेरिकी प्रेसीडेंट डोनाल्ड ट्रंप ( Donald Trump) ने कहा है कि एलन मस्क (Trump Elon Musk conflict)के कारोबार-जैसे टेस्ला और स्पेसX- की फंडिंग और सब्सिडी (Elon Musk government subsidy) सरकार पर निर्भर है। उन्होंने उनसे कहा: हम हर चीज़ पर गौर करेंगे… केवल तभी जब यह उनके और देश के लिए उचित हो" यहां ट्रंप उस फेडरल बजट कानून और कॉन्ट्रैक्ट पुनर्विचार प्रक्रियाओं का संदर्भ दे रहे हैं, जिनके अंतर्गत किसी कंपनी को मिलने वाले सरकारी प्रोत्साहनों को हटाया जा सकता है, यदि वह देशहित या बजट सीमाओं के खिलाफ हो।
ट्रंप प्रशासन ने कार्यकारी आदेश (Executive Order 14158 -20 जनवरी 2025) के तहत अमेरिकी डिजिटल सेवा U.S. Digital Service) को पुनर्गठन कर सरकारी दक्षता विभाग (Department of Government Efficiency DOGE) बनाया है, जिसकी बागडोर उन्होंने खुद एलन मस्क को सौंपी थी। इसका उद्देश्य फ़ेडरल तकनीक में सुधार, बिना काम के खर्च में कटौती, और सरकारी प्रक्रियाओं को तेज करना था। मस्क पर आर्थिक कार्रवाई करने के लिए इसी कानून की बात कर रहे हैं।
उन्होंने 26 फरवरी 2025 को जारी लागत-दक्षता आदेश Cost‑Efficiency Executive Order के तहत हर एजेंसी हेड को 30 दिनों के अंदर अपने सभी सरकारी कॉन्ट्रैक्ट्स और ग्रांट्स की समीक्षा करने का निर्देश दिया था कि यदि कोई कॉन्ट्रैक्ट “दुर्भावनापूर्ण या देशहित के खिलाफ” पाया गया, तो उसे संशोधित या रद्द भी किया जा सकता है। वे मस्क पर इस कानून के तहत लगाम लगा सकते हैं।
असल में DOGE, औपचारिक विभाग नहीं है, लेकिन इसे फेडरल एजेंसी के रूप में माना जा रहा है, यहां तक कि सूचना की स्वतंत्रता अधिनियम FOIA (Freedom of Information Act) के तहत भी जांच का दायरा मिलने लगा है।यह एजेंसी अनावश्यक खर्चों और विनियमों पर कटौती कर सकती है। कॉन्ट्रैक्ट्स और ग्रांट्स को खत्म या संशोधित कर सकती है।
डोनाल्ड ट्रंप ने मस्क के आरोपों के बाद सुझाव दिया है कि DOGE (Department of Government Efficiency) को मस्क के फंडिंग की जाँच करनी चाहिए। उन्होंने ये भी संकेत दिए कि: "वह बहुत होशियार आदमी है… एलन हमारी मंजूरी के बिना कुछ नहीं कर सकता और न ही करेगा" इससे जाहिर है कि ट्रंप प्रशासन मस्क को DOGE की निगरानी में रखना चाहता है, और किसी भी कॉन्टेक्ट या निर्णय के लिए “नियंत्रण कानून” का उपयोग कर सकता है।
ट्रंप ने मस्क को "डिपोर्ट करने" की धमकी भी दी है, यह कहते हुए कि मस्क “अमेरिका में सरकारी स्टिमुलस से लाभ उठा रहा हैहैं” हालांकि मस्क एक प्राकृतिक-अमेरिकी नागरिक हैं, ट्रंप ने यह झूठा सवाल उठाया कि क्या मस्क का अर्ली इमीग्रेशन “कानूनी था?” इस दावे का कोई वैध आधार नहीं है, लेकिन वह इसे राजनीतिक दबाव के लिए इस्तेमाल कर रहे हैं।
अमेरिका का 1. आप्रवासन और राष्ट्रीयता अधिनियम ( Immigration and Nationality Act ) सन 1952 में बना, बाद में संशोधित किया गया।यह अमेरिका का मुख्य इमिग्रेशन कानून है, जो यह तय करता है कि कौन अमेरिका में कानूनी रूप से रह सकता है,किस आधार पर किसी को नागरिकता मिल सकती है,और किन परिस्थितियों में किसी का वीज़ा या स्थायी निवास (Green Card) रद्द किया जा सकता है।
एलन मस्क 2002 से प्राकृतिक अमेरिकी नागरिक (Naturalized American Citizen हैं। यानि वे अब अमेरिका के मूल नागरिकों की तरह ही पूर्ण नागरिक अधिकारों के पात्र हैं। इस स्थिति में किसी भी व्यक्ति को डिपोर्ट करना INA के तहत कानूनी रूप से असंभव है, जब तक उसने झूठे दस्तावेज़ दिए हों, या नागरिकता प्रक्रिया में फ्रॉड किया हो (Section 340 INA), या वो किसी राष्ट्रीय सुरक्षा खतरे के रूप में प्रमाणित हो। जबकि मस्क के खिलाफ ऐसा कोई वैध आरोप मौजूद नहीं है।
वो DOGE और अन्य निगरानी संस्थाओं के जरिए मस्क के पुराने इमिग्रेशन रिकॉर्ड की समीक्षा की मांग कर सकते हैं। वे यह दावा कर सकते हैं कि मस्क ने अपने अप्रवासन दस्तावेज़ों में “गलत जानकारी” दी थी (हालांकि कोई सबूत नहीं है), लेकिन यह सब तभी संभव होगा अगर कोई न्यायिक प्रक्रिया चले, और न्यायालय आदेश दे कि नागरिकता फर्जी तरीके से ली गई है — जो बहुत दुर्लभ और लगभग असंभव होता है।
नहीं। संविधान के तहत अमेरिका का राष्ट्रपति किसी भी नागरिक को सीधे निष्कासित (डिपोर्ट) नहीं कर सकता। डिपोर्टेशन प्रक्रिया यूएस डिपार्टमेंट ऑफ होमलैंड सिक्योरिटी (डीएचएस), यूएस इमिग्रेशन कोर्ट और संघीय न्यायपालिका के अधीन चलती है। इसमें कानूनी कारण धोखाधड़ी, अपराध या सुरक्षा खतरा अथवा न्यायिक समीक्षा अपील प्रक्रिया सभी अनिवार्य होते हैं।
अमेरिका का फेडरल बजट कानून (Federal Budget and Impoundment Control Act, 1974) एक ऐतिहासिक कानून है, जिसे कांग्रेस और राष्ट्रपति के बीच बजट नियंत्रण और खर्चों की निगरानी सुनिश्चित करने के लिए बनाया गया था। इसका उद्देश्य यह है कि कोई भी संघीय एजेंसी या राष्ट्रपति बिना कांग्रेस की मंजूरी के बजट में बदलाव न कर सके। इस कानून के तहत किसी कंपनी को दी गई सब्सिडी या फंडिंग को वापस लेने या रद्द करने के लिए वैधानिक कारण और कांग्रेस की स्वीकृति ज़रूरी होती है।
इस कानून के तहत एलन मस्क की कंपनियों (जैसे टेस्ला, स्पेसX) को मिली सरकारी सहायता की समीक्षा तभी हो सकती है, जब वे किसी "फेयरनेस" या "नेशनल इंटरेस्ट" की कसौटी पर खरे न उतरें, और इसके लिए DOGE जैसी एजेंसी की जांच रिपोर्ट और कांग्रेस की सहमति अनिवार्य होगी। सीधे ट्रंप मस्क पर इस कानून के तहत कार्रवाई नहीं कर सकते, लेकिन यह कानून एक कानूनी ढांचा जरूर प्रदान करता है।
ट्रंप DOGE का आदेश दे सकते हैं कि मस्क की कंपनियों का ऑडिट करें। फेडरल एजेंसियाँ, जैसे DoD या NASA, मस्क के कॉन्ट्रैक्ट पर पुनर्विचार कर सकती हैं। यह विवाद कांग्रेस या अदालत तक भी जा सकता है, अगर ट्रंप प्रशासन कानून का दुरुपयोग करे।
"मैं कानून देखूंगा" - ट्रंप का यह बयान यूं ही नहीं दिया गया। यह सिर्फ एलन मस्क की कंपनियों पर हमला नहीं, बल्कि निजी स्वतंत्रता, व्यावसायिक निर्भरता और सत्ता के इस्तेमाल का सीधा प्रदर्शन है।
एलन मस्क ने हाल ही में सोशल मीडिया (X) पर ट्रंप के खिलाफ संकेतात्मक आलोचना की थी। ट्रंप को यह बात इतनी नागवार गुज़री कि उन्होंने मस्क की अमेरिका में नागरिकता, सरकारी सब्सिडी और कॉन्ट्रैक्ट्स तक पर सवाल उठा दिया। यह संकेत है कि कोई भी उद्योगपति यदि सत्ता की लाइन से बाहर जाता है, तो उसकी आज़ादी पर हमला हो सकता है।
कई लॉ पार्टियाँ (judges, unions, watchdog groups) DOGE की संरचना और कार्यप्रणाली को संविधान विरोधी बता रही हैं-उनका कहना है कि इसने Congress के स्वीकृत बजट और एजेंसी अधिकारों को दरकिनार किया है। इन समूहों ने दावा किया है कि DOGE बिना Congress की मंजूरी के खर्च में कटौती करता है (Article I नियंत्रण की अनदेखी) बजट प्रकिया को दरकिनार कर सकता है। दरअसल निगरानी एजेंसियों और कॉन्ट्रैक्ट प्रक्रियाओं को अपने नियंत्रण में लाता है।
ट्रंप का कहना है कि एलन मस्क की कंपनियां (TesIa, SpaceX, इत्यादि) इन नई प्रक्रियाओं के सर्वोच्च लक्ष्यों में से हैं। वह DOGE के माध्यम से उनके सब्सिडी और कॉन्ट्रैक्ट्स का ऑडिट करवाने की योजना बना रहे हैं। यह “न्याय संगत” होगी जब “देश और कंपनी दोनों के हित में” हो - यानि फेयर्नेस क्लॉज़ के आधार पर क़ानूनी दायरे में हो।