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Video Story- यहां अपनी मांग में दूसरे दिन भी हड़ताल पर डटे सफाई कर्मी, सफाई व्यवस्था लडख़ड़ाई

मंत्री के आश्वासन पर काम पर लौटे कर्मचारी, पीएफ में सुधार के लिए सीएस को पांच दिनों की मोहलत

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Video Story- Here the sanitation workers on strike for the second day

Video Story- यहां अपनी मांग में दूसरे दिन भी हड़ताल पर डटे सफाई कर्मी, सफाई व्यवस्था लडख़ड़ाई

अनूपपुर। जिला अस्पताल अनूपपुर में ठेके पर कार्यरत सफाई कर्मियों की हड़ताल दूसरे दिन भी जारी रहा। अस्पताल में कार्यरत दैनिक वेतनभोगी २५ सफाई कर्मियों के अलावा दो नियमित सफाई कर्मी है। लेकिन मानदेय के समय पर भुगतान नहीं करने और पीएफ सहित अन्य मांगों में ठेकेदार की लापरवाही बरतने से परेशान दैनिक वेतनभोगी सभी कर्मचारी अपनी मांगों में दो दिनों से हड़ताल पर हैं। हालांकि शाम को सर्किट हाउस अनूपपुर आए प्रदेश खाद्य मंत्री से मिलकर सफाई कर्मियों ने अपनी समस्याओं व मांगों से अवगत कराया, जिस पर मंत्री बिसाहूलाल सिंह ने सफाई में लगे ठेका कंपनी को ठेका से बाहर करने और कर्मचारियों के पीएफ सहित अन्य मांगों में सुधार के निर्देश स्वास्थ्य अधिकारी को दिए हैं। साथ ही मंत्री ने पांच दिनों की मोहलत देते हुए सभी जायज मांगों को पूरा करने का निर्देश दिया है। जिसके बाद सफाई कर्मचारी अपने कार्य पर लौट आए हैं। लेकिन कर्मचारियों के दिनभर हड़ताल पर रहने से अस्पताल परिसर से लेकर वार्डो के भीतर भी गंदगी का माहौल बना रहा है। जगह जगह कचरे के ढेर लग गए। साामान्य वार्ड में दो दिनों से झाडू नहीं लग पाने के कारण गंदगी अटी पड़ी रही। जबकि बर्न वार्ड, ऑपरेशन थियेटर, मेटरनिटी वार्ड के डस्टबीनों में संक्रमित अपशिष्ट पड़े रहे। सफाई कर्मचारी अपनी ८ विभिन्न बिन्दूओं पर मांग को लेकर जिला अस्पताल परिसर के सामने इंदिरा तिराहा के पास धरना देकर विरोध प्रदर्शन किया। इस दौरान सिविल सर्जन से अपनी मांगों को लेकर अविलंब पूरी की बात कही। जिस पर सिविल सर्जन ने सोमवार तक शेष बचे एक माह के और भुगतान का मौखिक आश्वासन दिया। लेकिन सफाई कर्मियों ने इसका विरोध करते हुए लिखित में आश्वासन देने और समस्याओं को पूरा करने की बात कही। जिस पर सिविल सर्जन ने लिखित से मनाही कर दी।
सफाई के लिए नगर पालिका के कर्मचारी पहुंचे अस्पताल, नोंकझोंक के बाद लौटे बैरंग
सफाई कर्मियों के हड़ताल पर चले जाने के उपरांत बिगड़ रही सफाई व्यवस्थाओं को देखते हुए सिविल सर्जन ने नगर पालिका के सफाई कर्मियों को बुलाकर सफाई कराना चाहा। लेकिन यहां नगर पालिका से आए सफाई कर्मचारियों से जिला अस्पताल के सफाई कर्मियों ने काम करने से मनाही कर दी। इस दौरान दोनों पक्षों के बीच नोंक झोंक भी हुआ। जिला अस्पताल सफाई कर्मियों का कहना था कि वे उनके नगरपालिका मामले में हस्तक्षेप करने नहीं जाते, यहां उनका वाजिव मांग है। उन्हें अपनी लड़ाई लडऩे दें। जिसके बाद नगर पालिका से आए दर्जनों सफाई कर्मी बिना काम किए वापस लौट गए। सफाई कर्मचारियों का आरोप है कि यह स्थिति प्रत्येक दो-तीन माह के दौरान बनती है, जहां दो-तीन माह के मानदेय भुगतान नहीं होने पर विरोध प्रदर्शन करने पर ठेकेदार पर दवाब डालकर जिला अस्पताल प्रबंधक भुगतान कराता है। यहां तीन माह में कभी एक माह तो कभी दो माह का भुगतान कर शेष एक माह का अगले माह में भुगतान करने की बात कह अटका देता है। विदित हो कि ठेके में कार्यरत ३६ कर्मचारियों की सूची में यहां मात्र २५ कर्मचारी सेवा दे रहे हैं।
ये हैं उनकी मांग, सोमवार तक सीएस ने दिया आश्वासन
८ सूत्री मांगों में ठेकेदार को ठेका रद्द किया जाए, मासिक वेतन १ से १० तारीख के बीच भुगतान कराया जाए, माह में ४ अवकाश प्रदाय किए जाए, मानदेय कलेक्टर दर से भुगतान कराए जाए, ड्यूटी टाइम तीन पालियों में सुबह ८ बजे से दोपहर २ बजे, २ से रात ८ बजे और रात ८ बजे से सुबह ६ बजे तक नियत किया जाए, कर्मचारियों की बढोत्तरी की जाए, पीएफ सही तरीके से मिले, पीएफ व एसआईसी सुधार की जाए। कर्मचारियों को इसकी जानकारी दी जाए।
वर्सन:
खाद्य मंत्री से कर्मचारियों ने अपनी बातें रखी है, जिसमें पीएफ में सुधार कर शेष मानदेय भुगतान के निर्देश दिए हैं। जल्द ही ठेकेदार से बात कर भुगतान व पीएफ में सुधार कराया जाएगा।
डॉ. एसआर परस्ते, सिविल सर्जन जिला अस्पताल अनूपपुर।
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