UPSC Success Story: हालात पक्ष में न होने के बावजूद यूपी के बस्ती जिले के रहने वाले बजरंग प्रसाद ने अपनी कड़ी मेहनत के बलबूते यह कामयाबी हासिल की है, आइए जानते हैं उनकी कहानी के बारे में…
UPSC Success Story: हर साल UPSC सिविल सेवा परीक्षा के नतीजे आते हैं और इसके साथ ही सामने आते है संघर्ष, लगन और प्रतिभा के नए किस्से। हर साल इस परीक्षा को टॉप करने वाले लोग और उनकी कहानियां सिविल सेवा की तैयारी करने वाले छात्रों के लिए प्रेरणा बन जाती हैं। ऑल इंडिया रैंक 1 लाने वाली इशिता किशोर हैं पटना सिटी की हैं। लेकिन इशिता नोएडा में रहकर पढ़ाई कर रही थीं।
बजरंग ने कड़ी मेहनत के बलबूते हासिल की कामयाबी
इशिता की कहनी अभी भी सुर्खियों में बनी हुई है। लेकिन इसी बीच एक प्रेरणादायक कहानी तेजी से वायरल हो रही है। UPSC 2022 नतीजों में 454वीं रैंक हासिल करने वाले बजरंग प्रसाद की कहानी। आइए जानते हैं उनकी कहानी के बारे में। बता दें, हालात पक्ष में न होने के बावजूद यूपी के बस्ती जिले के रहने वाले बजरंग ने अपनी कड़ी मेहनत के बलबूते यह कामयाबी हासिल की है।
पिता की हत्या के बाद UPSC का जुनून सवार हो गया
बजरंग ने साल 2019 में UPSC परीक्षा की तैयारी शुरू की थी। इसके बाद साल 2020 में उनके पिता की हत्या कर दी गई। पिता की हत्या के बाद बजरंग के सिर पर UPSC की परीक्षा को पास करने का जुनून सवार हो गया। इसके बाद क्या था, उन्होंने परीक्षा पास करने के लिए जी जान लगा दिए। अपने तीसरे प्रयास में उन्होंने UPSC का एग्जाम पास कर लिया।
एक इंटरव्यू में बजरंग प्रसाद ने बताया कि उनसे UPSC के इंटरव्यू में क्या सवाल पूछा गया था? उन्होंने कहा, “उनसे छुट्टा जानवर की समस्या के निवारण के बारे में सवाल किया गया था।” जिसका उन्होंने ऐसा जवाब दिया कि इंटरव्यू बोर्ड में बैठे लोगों के चेहरे पर मुस्कान आ गई थी।
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बजरंग ने बताया, “25 से 30 मिनट तक चले इंटरव्यू में उनसे कई तरह के सवाल किए गए थे। मगर उनमें सबसे अच्छा सवाल छुट्टा पशुओं को लेकर पूछा गया था। उनसे पूछा गया था कि ‘यूपी में छुट्टा पशुओं की समस्या है, क्या कुछ किया जाए कि सरकार को पैसा भी न देना पड़े और समाधान भी हो जाए?”
बजरंग का स्मार्ट जवाब
बजरंग ने आगे बताया, “सवाल का जवाब देते हुए मैंने कहा कि मैम मैं चाहता हूं कि शहर के जितने भी छुट्टा पशु हैं और जो शहर में लोग ऐसे ही घूम रहे हैं। एक गौशाला बनाकर दोनों को साथ में रख दिया जाए। इससे लोगों को फ्री में दूध-दही मिल जाएगा और गायों के पालन के लिए पशुपालक भी मिल जाएंगे। वह पैसा भी कमा लेंगे दूध-दही बेच कर। इसके बाद वे लोग गोबर गैस भी बना सकते हैं।”
बजरंग ने बताया, “उनका यह जवाब सुनने के बाद इंटरव्यू बोर्ड के लोग खुश थे और उनके चेहरे पर मुस्कान थी। जिस वजह से उन्हें इंटरव्यू में 190 मार्क्स मिले थे, जो अच्छे माने जाते हैं।” इसके बाद बजरंग ने अपनी पढाई से जुड़ी कहानी शेयर की, जो बेहद प्रेरणादायक है।
कोचिंग की फीस के लिए पिता ने गेहूं की फसल बेच दी थी
बजरंग ने बताया, साल 2019 में 10 मई को उन्होंने दिल्ली में आकर UPSC की परीक्षा की तैयारी शुरू की। दिल्ली में पढ़ाई के लिए पैसे के इंतजाम करने के लिए उनके पिता ने साल 2020 में गेहूं की फसल को बेच दी थी। 40-50 हजार रुपए में फसल की बिक्री हुई थी। यह पूरा पैसा पिता ने कोचिंग की फीस के लिए उन्हें दे दिया था।”