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आजादी के 75 साल बाद नक्सलियों की मांद अंतागढ़ से दौड़ेगी पैसेंजर ट्रेन,

भिलाई. बीएसपी की लाइफलाइन रावघाट माइंस एरिया में 13 अगस्त को एक और माइलस्टोन जुड़ जाएगा। आजादी के 75 साल बाद घूर माओवादी क्षेत्र अंतागढ़ से दुर्ग तक पैसेंजर ट्रेन दौड़ेगी। एसएसबी के सुरक्षा साए में रेलवे ने रेललाइन का काम सालभर पहले ही पूरा कर दिया था और पिछले साल के आखिर में हुए इंजन के ट्रायल के बाद ट्रेक पूरी तरह तैयार हो चुका था। अब तक ट्रेन केवटी तक पहुंच रही थी.

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ANTAGADH

सएसबी के सुरक्षा साए में

अंतागढ़ से रवाना होगी

इस ट्रेन के शुरू होने के बाद रावघाट से लाए जाने वाले माइंस को अंतागढ़ से ट्रेन के रास्ते भिलाई तक लाया जा सकेगा। रेलवे ने 13 अगस्त को अंतागढ़ से पैसेंजर शुरू करने की तैयारी पूरी कर ली है। इस ट्रेन को स्थानीय जनप्रतिनिधि एवं जिला प्रशासन के अधिकारी हरी झंडी दिखाएंगे। ट्रेन एक दिन पहले ही अंतागढ़ स्टेशन पहुंचेगी और अंतागढ़ से शनिवार को दोपहर 1 बजकर 35 मिनट पर रवाना होगी और 4 बजकर 40 मिनट पर दुर्ग पहुंचेगी।

सुरक्षा साए में स्टेशन
अंतागढ़ से ट्रेन शुरू होने के पहले ही एसएसबी की 28 और 33 बटालियन के जवानों ने स्टेशन और रेलवे ट्रेक को अपने सुरक्षा घेरे में ले लिया है। केवटी से मासबसर होते हुए रेल लाइन अंतागढ़ तक पहुंची है। सुरक्षा व्यवस्था को देखते हुए एसएसबी ने अंतागढ़ स्टेशन से लेकर केंवटी तक18 किलोमीटर का ट्रेक में और सख्ती कर दी है। यहां दिनरात सर्चिग के साथ ही डॉग स्क्वार्ड की भी लगातार सर्चिग हो रही है।

18 किलोमीटर का सफर
केवटी से अंतागढ़ का सफर 18 किलोमीटर का होगा। जिसे करीब 10 मिनट में पूरा किया जा सकेगा। इस ट्रेक पर सबसे पहले 30 जुलाई 2020 को पहला ट्रायल हुआ था। जब 110 की स्पीड से ट्रेक पर इंजन दौड़ा था। इसके बाद 2021 में भी लगातार तकनीकी टीम ने कई बार इंजन का ट्रायल किया है। रेलवे के अधिकारियों की मानें तो अंतागढ़ तक पैसेंजर ट्रेन शुरू होने के बाद बीएसपी यहां से मालगाड़ी के जरिए लौह अयस्क भेज सकेगा। इसके लिए अंतागढ़ स्टेशन में 20 मीटर चौड़ा और 7 सौ मीटर लंबा गुड्स प्लेटफार्म बन रहा है।

एक भी लेवल क्रांसिग नहीं
घने जंगलों के बीच गुजरने वाली इस रेल लाइन को सुरक्षित रखने आरवीएनएल ने लेवल क्रांसिंग नहीं दी है। केवल केंवटी से अंतागढ़ के बीच ही 32 पुल बनाए हैं। जिसमें 4 बड़े पुल के साथ 28 छोटे पुल-पुलिया हैं। साथ ही 7 अलग-अलग स्थानों पर लेवल क्रांसिग देने की बजाए पुल के नीचे से ही सड़क और 3 पुल के ऊपर से सड़क तैयार की गई

अगला टारगेट ताड़ोकी तक
95 किलोमीटर की इस रेल लाइन में अब तक 60 किलोमीटर तक का काम पूरा होने के बाद आरवीएनएल ने अगला टारगेट ताड़ोकी तक यानी 17 किलोमीटर तक कार्य पूरा करने का लक्ष्य रखा है। इसके बाद रावघाट रेललाइन में 77 किलोमीटर तक का काम पूरा हो जाएगा।