मैथिल सेवा संस्थान के संजय झा ने बताया कि मंगलवार को छठ पर्व का पहला दिन होगा। सबसे पहले घर की सफाई कर उसे पवित्र किया जाता है। उसके बाद व्रती अपने नजदीक तालाब अथवा घर में ही स्वक्ष जल से स्नान करते है। व्रती नाखनू को अच्छी तरह काटकर, स्वच्छ जल से अच्छी तरह बालों को धोते स्नान करते हैं। वे अपने घर के आसपास साफ सुथरा रखते हैं। व्रती मंगलवार को एक बार ही खाना खाते हैं। खाने में कद्दू की सब्जी, मूंग चना दाल, चावल का उपयोग करते हैं। यह खाना कांसे या मिट्टी के बर्तन में पकाया जाता है। खाना पकाने के लिए आम की लकड़ी और मिटटी के चूल्हे का इस्तेमाल करते हैं। जब खाना बन जाता है तो सर्वप्रथम व्रती खाते हैं, उसके बाद अन्य सदस्य खाते हैं। 6 नवंबर को खरना मनाया जाएगा। व्रती दिन भर निर्जला उपवास रखते हैं। शाम को पूजा के बाद प्रसाद के रूप में खीर, रोटी और फल खाए जाते हैं।
मानसरोवर झील पर होगा कार्यक्रम पूर्वांचल जन चेतना समिति की ओर से मानसरोवर झील पर 6 नवंबर को शाम सात बजे से सांस्कृतिक कार्यक्रम होगा। समिति संस्थापक अध्यक्ष रजनीश वर्मा ने बताया कि वृंदावन की शर्मा इवेंट टीम झांकियों की प्रस्तुत देगी। इसमें उज्जैन की भस्म आरती, काना संग फूलों की होली, राम दरबार, हनुमानजी की लीलाओं व झाकियों से उनका चित्रण होगा। भोजपुरी कलाकारों की ओर से सांस्कृतिक कार्यक्रम के दौरान मेधावी छात्र- छात्रों को सम्मानित किया जाएगा। भोजपुरी कलाकारों में संजय यादव, भोजपुरी फिल्म एक्ट्रेस अनारा गुप्ता, गुंजन पंत, संजुक्ता राय शामिल है।