
रबी की फसल के लिए खारी बांध की नहरें खोलने को लेकर जल वितरण कमेटी की बैठक
आसीन्द।
रबी की फसल के लिए खारी बांध की नहरें खोलने को लेकर जल वितरण कमेटी की बैठक शनिवार को जल संसाधन कार्यालय प्रांगण में आयोजित हुई। इसमें विभागीय अधिकारी, क्षेत्रीय विधायक रामलाल गुर्जर, पूर्व विधायक नानूराम कुमावत व पूर्व डेयरी चैयरमेन छोगालाल गुर्जर, जन प्रतिनिधि व काश्तकार मौजूद थे।
खारी बांध में 8. 80 फीट पानी है इसको लेकर घन्टों चली बैठक में पानी छोडऩे, बांध में रिजर्व रखने व क्षतिग्रस्त नहरों की मरम्मत को लेकर शुरू से अन्त तक हंगामा होता रहा।
हंगामे के बीच सर्वसम्मति से निर्णय सुनाते हुए अधीक्षण अभियन्ता अख्तर जमील ने कहा कि बांध की एल.एम.सी. बांई मुख्य नहर 6 नवम्बर को खोली जाएगी। पांच दिन बाद 11 नवम्बर को आर.एम.सी. दांई मुख्य नहर खोली जाएगी। प्रथम पिलाई में साढ़े चार फीट पानी छोड़ा जाएगा। इसके बाद नहर बन्द कर दी जाएगी। पानी जहां तक पहुंचेगा, वहां तक की पिलाई होगी। दूसरी पाण का पानी भी जहां तक जाएगा, वहां तक पिलाई होगी। काश्तकारों की मांग पर उन्होंने ने स्पष्ट करते हुए कहा कि प्रथम पाण में सिंचित हुई भूमि में सिचाई के लिए पानी नहीं पहुंच पाने की दशा में विभाग की कोई भी जिम्मेदारी नहीं होगी।
हेड से माईनर व आउट लेट कोई भी बन्द नहीं रखा जाएगा। काश्तकारों से ऐसी फसल बोने का आग्रह किया गया है जो दो पाण की उपलब्ध सिंचाई से तैयार हो सके। काश्तकार समय से पहले अपने धोरे, माइनर, आदि को स्वयं साफ करेंगे। मुख्य नहरों से खेत तक पानी ले जाने की जिम्मेदारी स्वयं काश्तकार की होगी। इस बीच युवा काश्तकार मदनलाल कुमावत के नेतृत्व में खारी बांध में पांच फीट पानी पेयजल के लिए रिजर्व रखने व खारी नदी व आसपास के तालाबों में पानी छोड़ कर क्षेत्र के सेजे को तर करने की मांग करते हुए भूमिगत जल स्तर बढ़ाने की मांग की। बैठक में प्रस्ताव पर सहमति नहीं बनी।
Published on:
28 Oct 2017 11:07 pm
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