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सावन के नियम: इस माह भूलकर भी न करें ये गलती, नहीं तो घर में हो सकती है समस्या

आज सावन ( sawan ) का पहला सोमवार ( sawan Ka somvar ) ...

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sawan ke niyam

सावन के नियम: इस माह भूलकर भी न करें ये गलती, नहीं तो घर में होगी समस्या

भोपाल। भगवान शिव का प्रिय मास सावन ( sawan month ) आरंभ हो चुका है और आज यानि सोमवार को 2019 में सावन ( sawan ) का पहला सोमवार ( sawan Ka somvar ) है। ऐसे में आज चारों ओर भक्ति का माहौल बना हुआ है। मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में भी आज शिव मंदिरों में भक्तों का तांता लगा हुआ है और शिव भक्‍त में सावन के पहले सोमवार ( sawan somvar ) को लेकर विशेष उत्‍साह में हैं।

पंडित सुनील शर्मा के अनुसार पुराणों ( Puran ) में भी अन्य दिनों के अपेक्षा सावन के महीने में भगवान शिव ( Lord Shiv ) की पूजा अर्चना को विशेष माना गया है, साथ ही कहा गया है कि इन दिनों भोलेनाथ ( bholenath ) की पूजा करने का कई गुना लाभ मिलता है।

खानपान का रखें खास ख्याल ( SAWAN KE NIYAM ) ...

वहीं यह भी माना जाता है कि सावन ( sawan ) का महीना एक ओर जहां तेज वर्षा और हरियाली लेकर आता है, वहीं दूसरी ओर संक्रमण और बीमारियों का भी खतरा बनता है। इस दौरान शरीर की इम्‍यूनिटी कमजोर हो जाती है और बीमारियां शरीर में अपना घर बना लेती है। ऐसे में खाने पीने का खास ख्‍याल ( sawan rules ) रखना जरूरी होता है। सावन के महीने में पेट से जुड़ी ज्‍यादा बीमारियां होती हैं।

ऐसे में धार्मिक मान्‍यताओं और आयुर्वेद के अनुसार सावन के महीने में कुछ चीजों का सेवन पूरी तरह से वर्जित माना जाता है। इस मौसम में हमें हरी पत्तेदार सब्जियां, मास मछलियां और लहसुन-प्‍याज खाने से बचना ( Sawan Rules in hindi ) चाहिए क्‍योंकि इसे हजम करने में दिक्‍कत आती है और वात की भी शिकायत बढ़ती है।

इसके अलावा मानसून के दिनों में इनमें की बैक्टेरिया और कीड़े भी देखे जा सकते हैं। इसलिए सावन में हरी पत्तेदार सब्जियां खाने की मनाही है। तो अगर आप भी अपनी डाइट में कुछ बदलाव करने को तैयार हैं तो यहां जानें सावन के महीने में किन किन चीजों को खाने से बचना चाहिये...

इन्हीं सब बातों को देखते हुए सनातन धर्म में सावन के महीने में पूजापाठ के साथ ही कुछ नियमों ( SAWAN KE NIYAM ) के अलावा खानपान को लेकर भी कुछ नियम ( sawan rules ) हैं, जिनका पालन करना हर व्‍यक्ति के लिए अनिवार्य माना जाता है।

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ये हैं पूजा के नियम ( sawan rules ) …

1. जलाभिषेक : sawan Shiv Abhishek
सावन में शिवजी का अभिषेक करते समय कभी भी हल्दी का प्रयोग ना करें। सावन के महीने में भगवान शिव की पूजा में हल्‍दी का प्रयोग करना वर्जित है।

2. मन में भी न लाएं ऐसे विचार :
शिवभक्तों को कभी भी सावन में बुरे विचार मन में नहीं लाने चाहिए और न ही किसी की बुराई करनी चाहिए। इस समय धर्म संबंधी किताबों का अध्ययन करना चाहिए।

3. अपमान न करें :
वैसे तो कभी किसी का अपमान नहीं करना चाहिए। मगर सावन के महीने में खास तौर पर इस बात का ध्‍यान रखें कि माता-पिता, बुजुर्ग व्यक्ति, भाई-बहन, स्त्री, गरीबों और ज्ञानी लोगों का अपमान नहीं करना चाहिए।

4. नींद :
शास्त्रों में बताया गया है कि सावन में भक्त और ईश्वर के बीच की दूरी कम हो जाती है। इसलिए सुबह देर तक सो कर इसे व्यर्थ नहीं करना चाहिए। सुबह जल्दी उठकर शिवजी की पूजा करनी चाहिए।

5. साफ-सफाई :
सावन में शिव भक्ति के लिए आपके आसपास सकारात्मक माहौल बहुत जरूरी है। उसके लिए आप हमेशा अपने घर में साफ-सफाई रखें। घर में पुरानी पड़ी और प्रयोग में न आने वाली वस्‍तुओं को हटा देना चाहिए।

6. ब्रह्मचर्य :
पुराणों के अनुसार सावन महीने में स्त्री-पुरुष प्रसंग से बचना चाहिए। ब्रह्मचर्य व्रत के नियमों का पालन करना चाहिए। इससे नरक की यातना भुगतनी पड़ती है और अगले जन्म में पशु योनी में जन्म लेना पड़ता है।

आज सावन का पहला सोमवार (Sawan Somvar) है। जहां लोग भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए व्रत रखते हैं और पूजा की जाती है। सावन में सोमवार के दिन भगवान शिव, माता पार्वती और नंदी की पूजा की जाती है।

इसके साथ ही सावन के महीने कई ऐसी चीजें हैं जिन्हें इस दौरान खाने की मनाही है। एक ओर जहां ये चीजें वात दोष बढ़ा देती हैं, वहीं इन चीजों के सेवन करने से सेहत से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं। ऐसे में सावन के महीने में धार्मिक मान्यताओं के अनुसार मुख्य रूप से इन तीन चीजों का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए।

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सावन में यह चीज न खाएं ( SAWAN KE NIYAM ) :

1. शास्त्रों में सावन के महीने में बैंगन का खाना वर्जित माना गया है। उसे अशुद्ध बताया गया है। इसलिए बैंगन को द्वादशी, चतुर्दशी और कार्तिक मास में भी खाने की मनाही कही गई है। हिंदुओं के अलावा जैन धर्म के लोगों में भी बैंगन के खाने की पाबंदी होती है।
बैंगन को अशुद्ध माना जाता है। वहीं अगर दूसरा पक्ष देखा जाए तो बारिश के दौरान बैंगन में कीड़े ज्यादा लगे होते हैं जो आपकी सेहत को नुकसान पहुंचा सकते हैं।

2. दूध :
सावन में व्रतधारी को दूध का सेवन भी नहीं करना चाहिए। दरअसल सावन में मौसम परिवर्तन होता है, जिससे कई छोटे-छोटे कीड़े-मकोड़े भी पनप जाते हैं। कभी-कभी गाय-भैंस उनको खा जाती हैं, इसलिए उनका दूध हानिकारक हो जाता है। इसलिए अलावा धार्मिक मान्‍यता यह है कि भगवान शिव को भी दूध चढ़ाया जाता है तो दूध का सेवन करना वर्जित है।

3. मांस-मदिरा से दूर रहें :
हिंदू धर्म में सावन का विशेष महत्व बताया गया है इसलिए इस महीने में मांस-मदिरा का सेवन नहीं करना चाहिए। इससे आपका मन अशुद्ध होता है और अशुद्ध मन से भगवान की पूजा नहीं की जाती।
इसके अलावा बारिश के मौसम में हरी सब्‍जियों को खाने से गैस की शिकायत बढ़ती है। साथ ही पत्‍तेदार सब्‍जियों में बैक्‍टीरिया और कीड़े भी लगे होते हैं। जिसे खाने से पेट दर्द और अन्य शिकायते हो सकती हैं।

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सामान्य सोमवार के व्रत ( somwar vrat ) में इन बातों का रखें ध्यान...

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार सावन के सोमवार व्रत ( Sawan puja vidhi ) रखने वाले श्रद्धालुओं को प्रातः काल उठकर स्नान आदि करने के बाद व्रत कथा सुननी चाहिए, इसके बाद शिव-पार्वती को भोग लगाकर व्रत की शुरुआत करनी चाहिए।

पौराणिक कथाओं के अनुसार सावन के सोमवार के दिन व्रत करने वाले भक्तों को बेलपत्र और दूध शिव को अर्पित करने चाहिए। इसके अलावा व्रत करने वाले को दिन में एक बार भोजन करना चाहिए वह भी सूर्यास्त के बाद, इस व्रत में खाने को लेकर सावधानी बरतनी जरूरी होती है।

1. सोमवार को व्रत रखने वाले लोग अक्सर दिन में एक ही बार भोजन करते हैं, लेकिन बहुत सारे लोग जो व्रती होते हैं वह दिन में कई बार फल और फलों का जूस आदि लेते हैं ताकि शरीर में ऊर्जा बनी रहे।

2. व्रत के दौरान 500 से 750 मिलीलीटर दूध या दही और 30 से 50 ग्राम पनीर या चना जरूर ग्रहण करना चाहिए।

3. आप चाहें तो मूंगफली, मखाना आदि भी ले सकते हैं। इसके अलावा दिनभर में 7-8 ग्लास पानी जरूर पीएं।

4. इसके अलावा स्वास्थ्यवर्द्धक सिंघाड़ा, चटपटा फलाहारी उपमा, साबूदाने की शाही खीर या फिर चटपटी भुजिया सेव का भी सेवन व्रत के दौरान कर सकते हैं।