
श्रीकृष्ण के प्रति आस्था रखने वाले भक्त उनके बालरूप लड्डू गोपाल को अपने परिवार का सदस्य मानकर रखते हैं। बिजनौर के एक स्कूल में लड्डू गोपाल का स्कूल में एडमिशन कराया गया है।
वो प्रतिदिन स्कूल जाते हैं और नर्सरी के बच्चों के बीच बैठकर ककहरा सीख रहे हैं। लड्डू गोपाल को रोजाना स्कूल लाया जाता है और ले जाया जाता है। लड्डू गोपाल की बाकायदा फीस अदा की जा रही है।
कोई संतान नहीं हुई तो लड्डू गोपाल को मान लिया पुत्र
बिजनौर के बरुकी के पास स्थित सिकेड़ा निवासी संदीप डबास का विवाह नौ साल पहले हुआ था। कोई संतान नहीं हुई तो उन्होंने 18 नवंबर 2019 को वृंदावन से लड्डू गोपाल को लाकर अपने घर में स्थापित किया और तब से वह पुत्र की भांति उनका पालन पोषण कर रहे हैं।
संदीप डबास बताते हैं कि उनके दिन की शुरुआत लड्डू गोपाल को घंटी की ध्वनि बजाकर उठाने से होती है। उसके बाद उन्हें पंचामृत से स्नान कराते हैं।
स्नान वाले जल से घर में चाय बनाई जाती है। उनकी पत्नी शीतल देवी पूरा दिन लड्डू गोपाल का पालन पोषण पुत्र की तरह करती हैं। लड्डू गोपाल का प्रत्येक 18 नवंबर को जन्मदिन मनाया जाता है।
लड्डू गोपाल साढ़े तीन साल के हुए तो संदीप डबास उनका प्रवेश कराने ग्राम बांकपुर स्थित जेपीएसडी इंटरनेशनल स्कूल में गए। उन्होंने प्रवेश के लिए समस्त औपचारिकताएं पूरी कीं। लड्डू गोपाल को नामांकन रजिस्टर में 700 नंबर पर नामांकित किया है।
लड्डू गोपाल बृहस्पतिवार को विद्यालय आए। उनके लिए कक्षा में अलग से स्टूल डाला गया है। लड्डू गोपाल को अपने बीच बैठा हुआ देखकर नर्सरी के बच्चे भी बेहद उत्साहित हैं।
प्रधानाचार्य अर्चना गौतम ने उनसे फीस नहीं देने का आग्रह किया था लेकिन उन्होंने आग्रह पूर्वक फीस दी और कहा कि वह प्रत्येक महीने लड्डू गोपाल की फीस देंगे।
Published on:
21 Apr 2023 03:07 pm
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