साथ ही मामले की आनलाइन शिकायत भी विभाग के पोर्टल पर दर्ज कर सकते हैं। अब कंप्लेंट बाक्स लगाए जाने से लोगों को सहुलियत होगी व शिकायतों की संख्या में भी वृद्धि होगी। ज्ञात हो कि सरकार ने सर्विस प्रोवाइडर सभी संस्थानों को सर्विस टैक्स के दायर में लिया है जिसमें प्रमुख रूप से होटल, रेस्टोरेंट, जिमनेजियम, स्पा, चार्टड अकाउंटेंट समेत अन्य को शामिल किया गया है। मजे की बात है कि सेवाकर नियमों में पेंचिदगियों के कारण व्यापारियों द्वारा ग्राहकों से पूरा सेवाकर वसूला जा रहा है। जिसका फायदा विभाग को भी नहीं हो रहा है व ग्राहक लुटे जा रहे हैं। विभाग ने 10 लाख से कम टर्न ओवर वाले संस्थान को सेवाकर के दायरे से बाहर रखा है।