छतरपुर. जिले के तालाबों को बचाने के लिए जिला प्रशासन गर्मियों में ही एक विशेष मुहिम शुरु करने जा रहा है। अभियान के तहत आने वाले एक से दो महीनों के भीतर छतरपुर के सभी 607 तालाबों के अतिक्रमण को हटाने के लिए अधिकारियों को दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। इतना ही नहीं इस अभियान में आम जनता की भागीदारी भी की जा रही है। जनता अपने आसपास मौजूद तालाबों के अवैध कब्जों से जुड़ी शिकायतों को प्रशासन के टोल-फ्री नंबर 07682-181 पर शिकायत कर सकती है।
85 हेक्टेयर में कब्जे की शिकायतें
जिले में मौजूद 607 तालाबों में से 561 तालाब ऐसे हैं जिनका पूर्व में सीमांकन हो चुका है। सीमांकन के दौरान पाया गया कि इन तालाबों पर कोई कब्जा नहीं है। जबकि जिले के कुल तालाबों के 85.349 हेक्टेयर क्षेत्र पर कब्जे की शिकायतें प्राप्त हो चुकी हैं। अब तक प्रशासन ने 19 अतिक्रमणकारियों पर कार्यवाही भी की है। हालांकि यह कार्यवहियां पुरानी हैं, नए ग्रीष्म कालीन सीजन में नए सिरे से अभियान की शुरुआत होगी। गौरतलब है कि छतरपुर तहसील क्षेत्र में 97 तालाब मौजूद हैं, जिनमें 39 ग्रामीण क्षेत्र में एवं 58 तालाब नगरीय क्षेत्र में मौजूद हैं। ग्रामीण क्षेत्र में मौजूद तालाबों का कुल रकवा 317.87 हेक्टेयर है जबकि शहरी क्षेत्र में मौजूद तालाबों का कुल रकवा 196.082 हेक्टेयर है। बताया गया है जिले में कुल 607 तालाबों का रकवा 2692.118 हेक्टेयर है।
कुंओं, बावडिय़ों को भी पुर्नजीवित करेंगे
कलेक्टर संदीप जीआर के एक्शन प्लान के मुताबिक टोल-फ्री नंबर के माध्यम से जनता अपने आसपास मौजूद तालाबों कुंओं, बावडिय़ों पर कब्जे और इन्हें अतिक्रमित किए जाने की शिकायतें भेज सकते हैं। टोल-फ्री नंबर पर प्राप्त शिकायतों के आधार पर प्रशासन की टीम इन जलस्रोतों को कब्जामुक्त कराएगी।
पौधारोपण भी होगा
जिलेभर के तालाबों से अतिक्रमण हटाने के साथ ही तालाब किनारे पौधारोपण करने की भी रणनीति बनाई गई है। सबसे पहले अतिक्रमण चिंहित करके हटाया जाएगा। इसके बाद तालाब के कैचमेंच एरिया से चैनल बनाकर तालाबों में पानी आने के नैसर्गिक रास्ते बहाल किए जाएंगे। इसके बाद तालाब के चारो ओर फलदार व छायादार पौधे रोपकर फ्रूट पार्क तैयार किए जाएंगे।
इनका कहना है
कलेक्टर के निर्देशानुसार हमारे द्वारा सभी तालाबों के सीमांकन और उनका अतिक्रमण हटाकर मुनारे लगवाने की तैयारी कर ली गई है। सभी सजग नागरिक इस नंबर के माध्यम से अपनी शिकायत भेज सकते हैं।
नम: शिवाय अरजरिया, एडीएम, छतरपुर