गांव की ज्यादातर आबादी अपने निजी जलस्रोतों पर निर्भर है तथा कई जगह पाइप लाइन तक नहीं बिछी है। सरपंच कोमल गोड़वारा ने बताया कि जलदाय विभाग की रिपोर्ट में इस गांव में 740 परिवार हैं और वे सभी नलों से पानी पी रहे हैं। जबकि जमीनी हकीकत तो यह है कि सरकारी तीन ट्यूबवैलों में से एक ही चालू है। पैसे खर्च कर टेंकरों से पानी मंगवाना पड़ रहा है। महुवा जलदाय विभाग के एक्सईएन सिद्धार्थ कुमार ने बताया कि तकनीकी गलती के कारण यह रिपोर्ट राज सरकार को चली गई है। इस बारे में उच्चाधिकारियों को भी अवगत कर दिया है।
यह है योजना
प्रधानमंत्री जल जीवन मिशन योजना के अंतर्गत गांव में स्वच्छ एवं फ्लोराइडमुक्त पानी नलों के माध्यम से सप्लाई करना है। इस योजना को भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिसंबर 2019 में आरंभ किया था। इसके तहत वर्ष 2024 तक ग्रामीण क्षेत्र में इस योजना के अंतर्गत स्वच्छ जल नलों से सप्लाई करने का लक्ष्य है। इस योजना के अंतर्गत केंद्र व राज्य सरकार 45-45 फीसदी राशि उपलब्ध कराती है और 10 फीसदी राशि जनसहयोग से ली जाती है। ग्राम गहनौली में करीब 4 करोड़ रुपए जलदाय विभाग ने इस योजनांतर्गत स्वीकृत किए हैं। ऐसे में महुवा के जलदाय विभाग अधिकारियों द्वारा इस योजना के अंतर्गत ग्राम गहनोली और मंडावर की झूठी रिपोर्ट योजना की क्रियान्विति पर प्रश्नचिन्ह खड़ा कर रही है।
प्रधानमंत्री जल जीवन मिशन योजना के अंतर्गत गांव में स्वच्छ एवं फ्लोराइडमुक्त पानी नलों के माध्यम से सप्लाई करना है। इस योजना को भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिसंबर 2019 में आरंभ किया था। इसके तहत वर्ष 2024 तक ग्रामीण क्षेत्र में इस योजना के अंतर्गत स्वच्छ जल नलों से सप्लाई करने का लक्ष्य है। इस योजना के अंतर्गत केंद्र व राज्य सरकार 45-45 फीसदी राशि उपलब्ध कराती है और 10 फीसदी राशि जनसहयोग से ली जाती है। ग्राम गहनौली में करीब 4 करोड़ रुपए जलदाय विभाग ने इस योजनांतर्गत स्वीकृत किए हैं। ऐसे में महुवा के जलदाय विभाग अधिकारियों द्वारा इस योजना के अंतर्गत ग्राम गहनोली और मंडावर की झूठी रिपोर्ट योजना की क्रियान्विति पर प्रश्नचिन्ह खड़ा कर रही है।
भ्रष्टाचार का आरोप
सरपंच ने अधिकारियों पर प्रधानमंत्री जल जीवन मिशन योजना में भ्रष्टाचार करने का आरोप भी लगाया है। साथ ही जिला कलक्टर को पत्र भेजकर जलदाय विभाग की इस झूठी रिपोर्ट की जांच करवाने की भी मांग की है।
सरपंच ने अधिकारियों पर प्रधानमंत्री जल जीवन मिशन योजना में भ्रष्टाचार करने का आरोप भी लगाया है। साथ ही जिला कलक्टर को पत्र भेजकर जलदाय विभाग की इस झूठी रिपोर्ट की जांच करवाने की भी मांग की है।