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GST लागू होने के 2 महीने बाद भी व्यापारी परेशान, बोले – जबरन वसूला जा रहा सरचार्ज

नियमों से अनजान करीब 6 हजार व्यापारियों ने जीएसटी पंजीयन करा लिया। अब ये छोटे व्यापारी खुद को जीएसटी के मकडज़ाल में फंसा महसूस कर रहे हैं।

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धमतरी

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Ashish Gupta

Sep 23, 2017

GST

जीएसटी लागू होने के 2 महीने बाद भी व्यापारी परेशान, बोले - जबरन वसूला जा रहा सरचार्ज

धमतरी. जुलाई माह का जीएसटी 3बी दाखिल नहीं करने वाले व्यापारियों को राहत देते हुए शासन ने इस पर सरचार्ज माफ कर दिया। यह रिटर्न व्यापारियों को अगस्त माह के 3बी के साथ दाखिल करना था। अब तो अगस्त माह का जीएसटी 3बी दाखिल करने की तारीख निकल गई। कई व्यापारियों ने दोनों माह का रिटर्न दाखिल नहीं किया है। उन पर हर रोज 200 रुपए का सरचार्ज थोपा जा रहा है। इसे लेकर व्यापारियों में नाराजगी है।

जीएसटी के तहत 20 लाख तक के टर्नओव्हर वाले व्यापारियों को छूट मिली है। इन व्यापारियों को जीएसटी पंजीयन कराने की जरूरत नहीं है। जिले में छोटे-बड़े 7200 व्यापारी हैं। शुरूआती दौर में नियमों से अनजान करीब 6 हजार व्यापारियों ने जीएसटी पंजीयन करा लिया। इसमें बड़ी संख्या में छोटे व्यापारी भी शामिल हैं। इन व्यापारियों का आईडी पासवर्ड भी एक्टिवेट हो चुका है। अब ये छोटे व्यापारी खुद को जीएसटी के मकडज़ाल में फंसा महसूस कर रहे हैं।

छूट होने के कारण वे जीएसटी रिटर्न दाखिल करने से बचना चाहते हैं, लेकिन आईडी-पासवर्ड जनरेट होने के कारण उन्हें रिटर्न दाखिल करने के लिए बाध्य किया जा रहा है। जब तक वे आईडी में लाग इन नहीं करते हैं, तब तक वे जीएसटी पंजीयन रद्द नहीं करवा पाएंगे। उधर जीएसटी के तहत अब शासन ने कड़ाई बरतनी शुरू कर दी है। पंजीयन के बाद भी रिटर्न दाखिल नहीं करने वाले व्यापारियों पर सरचार्ज लगाना भी शुरू कर दिया गया है।

यह है स्थिति : व्यापारियों को आईडी-पासवर्ड भी दिया जा चुका है। इसमें 70 लाख से कम टर्नओव्हर वाले 1581 डीलरों ने तो काम्पोजिशन स्कीम लेकर हर माह तीन रिटर्न दाखिल करने की बाध्यता से छुटकारा पा लिया है। बाकी बचे 4419 व्यापारियों को जीएसटी रिटर्न दाखिल करना था, लेकिन अब तक 70 प्रतिशत व्यापारियों ने ही रिटर्न दाखिल किया है। 30 प्रतिशत व्यापारी अभी भी जीएसटी रिटर्न भरने से बचने की कोशिश में लगे हैं।

व्यापारी पुरुषोत्तम सिन्हा ने कहा कि अधिकांश व्यापारियों ने सीए की मदद से ले देकर जुलाई माह का रिटर्न दाखिल किया है। छोटे व्यापारी सीए अफोर्ड नहीं कर सकते हैं। इस कारण उनका रिटर्न दाखिल नहीं हो पाया है।

व्यापारी लिखेश संघवी ने कहा कि जीएसटी रिटर्न दाखिल करने में काफी दिक्कत हो रही है। एक रिटर्न दाखिल करने में तीन दिन का वक्त लगता है। बाध्यता के चलते कई व्यापारियों ने मजबूरी में रिटर्न दाखिल किया है।

विक्रयकर अधिकारी रामनरेश चौहान ने कहा कि अधिकांश व्यापारियों की समस्याएं सुलझ चुकी है, जिसके चलते वे रिटर्न दाखिल करने सामने आ रहे हैं। इस बार रिटर्न दाखिल करने में धमतरी के व्यापारियों ने अच्छा परफार्मेंस दिखाया है।