
sawan saturday
हिंदू कैलेंडर का पांचवां माह सावन शुरु हो चुका है, ऐसे में हर कोई भगवान शिव की आराधना कर उन्हें प्रसन्न करना चाहता है। इसका कारण यह है कि सावन भगवान शिव का प्रिय माह माना जाता है। वहीं चातुर्मास के चार माह में एक माह सावन भी आता है, और इस दौरान सृष्टि का संपूर्ण भार भगवान शिव पर ही होता है।
ऐसे में 31 जुलाई को शनिवार का दिन पड़ रहा है। जानकारों के अनुसार सावन में शनिवार का दिन बेहद खास माना जाता है। दरअसल एक तो शनि देव न्याय के देवता है, जो दंड के विधान के तहत कार्य करते हैं। उनके इसी व्यवहार के चलते हर कोई उनसे काफी डरता है। और उनके प्रकोप से खुद को बचाने के लिए तमाम तरह के उपाय भी करता है। इसके अलावा शनि के दंड के विधान के कारण ही देवता होते हुए भी इन्हें एक क्रूर ग्रह माना जाता है।
सावन में शनिवार क्यों है खास
जानकारों का मानना है कि शनि के तमाम उपायों में सावन शनिवार का उपाय बेहद सटिक होता है, उसका कारण यह है कि सावन भगवान शंकर का महीना है और भगवान शंकर ही शनि के गुरु हैं। ऐसे में शनि के दिन शनिवार को भगवान शिव की पूजा से तो शनि प्रसन्न होते ही है।
साथ ही यदि कोई इस दिन भगवान शंकर के साथ शनि की भी पूजा करता है तो शनि और अधिक उस व्यक्ति पर प्रसन्न होते हैं। यह भी माना जाता है कि सावन माह में शनि देव से संबंधित सारी समस्याएं भगवान शिव के प्रसन्न होने पर दूर हो जाती हैं।
पंडित सुनील शर्मा के अनुसार सावन शनिवार के दिन कुछ उपाय से शनि के दोष से बचा जा सकता है।
1. सावन के शनिवार पर भगवान शिव की पूजा शनिदेव के प्रिय रंग यानि गहरा नीले रंग वस्त्र पहनकर करनी चाहिए, माना जाता है कि ऐसा करने से शनि दोष से छुटकारा मिलता है।
2. सावन शनिवार के दिन शनिदेव के मंत्र से जाप रुद्राक्ष की माला से करना चाहिए। माना जाता है कि ऐसा करने से भी शनि के दोष से मुक्ति मिलती है।
3. माना जाता है कि सावन में पड़ने वाले शनिवार के दिन पीपल के पेड़ के नजदीक सरसों के तेल का दीपक जलाने से शनि दोष खत्म होता है। इसके साथ ही इस दिन पीपल पर जल चढ़ाकर उसकी सात बार परिक्रमा भी करनी चाहिए।
4. शिवलिंग का जलाभिषेक सावन शनिवार को जल में काला तिल डालकर करना चाहिए। मान्यता के अनुसार ऐसा करने से भगवान शिव के साथ ही शनि देव की कृपा बरसती है।
Published on:
30 Jul 2021 05:20 pm
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