धौलपुर

आखिरकार फील्ड में उतरे सीएमएचओ… निजी अस्पतालों की जांच

निजी अस्पतालों में हो रही अनेदखी पर राजस्थान पत्रिका ने गत 12 जून के अंक में प्रमुखता से ‘दीवार पर केवल डिग्री, डॉक्टर का नहीं अता-पता’ को प्रकाशित किया। इससे पहले शहर के निजी अस्पताल में एक महिला की मौत होने पर 11 जून को ‘केस बिगडऩे पर किया रैफर, अस्पताल के बाहर तोड़ा दम’ खबर प्रकाशित की गई। जिस पर मंगलवार को सीएमएचओ डॉ.धर्म सिंह अपनी टीम के साथ जांच करने पहुंचे।

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- जांच में मेट्रो और श्रीओम हॉस्पिटल में मिली कमियां

- सुधार नहीं होने पर सीज करने की चेतावनी

धौलपुर. शहर में निजी अस्पतालों में इलाज के नाम पर बरती जा रही लापरवाही और हाल के दिनों में मरीजों की कथित मौतों को लेकर मामला गर्माने पर आखिरकार जिम्मेदारों ने निजी नर्सिंग होम और अस्पतालों की जांच की। विभागीय अधिकारियों के जांच नहीं करने से कुछ अस्पतालों में तो इलाज कम कथित तौर पर मरीजों से पैसा वसूली अधिक चल रही थी। दो दिन पहले बाड़ी रोड स्थित एक निजी अस्पताल में मौत के बाद पुलिस अधीक्षक सुमित मेहरड़ा स्वयं एक्शन में दिखे। जिस पर आनन-फानन में निजी अस्पताल को सीज कर मर्ग रिपोर्ट दर्ज की गई। अब अनुसंधान अधिकारी को स्वास्थ्य विभाग की रिपोर्ट का इंतजार है। जिसके बाद पुलिस जांच करेगी।

निजी अस्पतालों में हो रही अनेदखी पर राजस्थान पत्रिका ने गत 12 जून के अंक में प्रमुखता से ‘दीवार पर केवल डिग्री, डॉक्टर का नहीं अता-पता’ को प्रकाशित किया। इससे पहले शहर के निजी अस्पताल में एक महिला की मौत होने पर 11 जून को ‘केस बिगडऩे पर किया रैफर, अस्पताल के बाहर तोड़ा दम’ खबर प्रकाशित की गई। जिस पर मंगलवार को सीएमएचओ डॉ.धर्म सिंह अपनी टीम के साथ जांच करने पहुंचे। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. मीणा के नेतृत्व में विभागीय टीम ने जिला मुख्यालय स्थित शांति देवी मेमोरियल अस्पताल, मेट्रो हॉस्पिटल, श्री ओम अस्पताल का औचक निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान अस्पतालों में लापरवाही मिलने पर उन्होंने नोटिस जारी करने के निर्देश दिए।

इस दौरान शांति देवी अस्पताल में मेडिकल स्टोर पर फार्मासिस्ट उपलब्ध नहीं था। मेट्रो हॉस्पिटल के निरीक्षण के दौरान फायर एनओसी एक्सपायर हो चुकी थी तथा कमर्शियल यूटिलाइजेशन का सर्टिफिकेट भी नहीं था। साथ ही बायो मेडिकल वेस्ट मैनजमेंट अनुबंध भी समाप्त हो चुका था। इस अस्पताल में एक मंजिल से दूसरी मंजिल पर मरीजों को जाने के लिए किसी भी प्रकार का कोई रैंप नहीं था। अस्पताल का भवन भी मरीजों के लिए दमघोटू था। इसी प्रकार श्री ओम हॉस्पिटल अस्पताल के ऑपरेशन थिएटर के अंदर मिट्टी एवं गंदगी मिली। यहां भी मरीजों की सुविधा के लिए कोई रैम्प नहीं था, फायर एनओसी भी नहीं मिली। अस्पताल का माहौल मरीजों के स्वास्थ्य के अनुकूल नहीं था। निरीक्षण के दौरान अस्पतालो में क्लीनिकल एस्टेब्लिशमेंट एक्ट रजिस्ट्रेशन, पॉल्युशन बोर्ड कंसेंट, बायो मेडिकल वेस्ट का निस्तारण सहित अन्य पक्षों की भी जांच की। सीएमएचओ डॉ.मीणा ने बताया के निरीक्षण किए गए सभी संस्थाओं में पाई गई कमियों को लेकर अस्पतालों को नोटिस जारी किया गया है। तीन दिन में उचित जवाब नहीं मिलने की स्थिति में अस्पताल सीज करने की कार्रवाई की चेतावनी दी। उन्होंने बताया कि आमजन को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया कराना विभाग की पहली प्राथमिकता है इसमें किसी प्रकार की कोताही नहीं बरती जाएगी। निरीक्षण के दौरान टीम में डॉ.विवेक शुक्ला, एपिडेमियोलॉजिस्ट अखिलेश गर्ग, डीपीसी पीसीपीएनडीटी पंकज शुक्ला सहित अन्य मौजूद रहे।

सीसीटीवी फुटेज से लापरवाही के राज...

बाड़ी रोड स्थित निजी सरल हॉस्पिटल में इलाज को भर्ती महिला प्रसूता की मौत के मामले के बाद विभाग ने अस्पताल की इमारत को सीज कर दिया। पुलिस ने अस्पताल के सीसीटीवी फुटेज की जांच के लिए डीवीआर को जब्त किया है। साथ ही कुछ कागजात भी लिए हैं। सूत्रों के अनुसार जांच के लिए यह फुटेज खासी महत्वपूर्ण मानी जा रही है। इस फुटेज में कही भी जिम्मेदार चिकित्सक नजर नहीं आ रहा है। अब सवाल है कि फिर प्रसूता का ऑपरेशन किसने किया। इसी ऑपरेशन के बाद महिला की तबीयत बिगड़ गई और रैफर करने के दौरान उसने दम तोड़ दिया था।

Published on:
14 May 2025 06:55 pm
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