
अधेड़ावस्था में प्रोस्टेट ग्रंथि का बढऩा एवं इससे संबंधित अन्य समस्याओं का सही समय पर इलाज न होने से स्थिति बिगडऩे पर कैंसर भी हो सकता है। पुरुषों को होने वाले विभिन्न प्रकार के कैंसर में प्रोस्टेट कैंसर का दूसरा स्थान है। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की नॉर्थ वेस्ट (कोलकाता) शाखा के सचिव एवं वरिष्ठ यूरोलॉजिस्ट डॉ.अमित कुमार अग्रवाल के मुताबिक सही जीवनशैली व खानपान से इसकी रोकथाम संभव है।
डेयरी प्रोडक्ट कम लें
वसायुक्त भोजन विशेषतौर पर ऐसे डेयरी उत्पाद जो कि पाश्चुरीकृत हों, उन्हें न खाएं। इस प्रकार का फूड प्रोस्टेट कैंसर के साथ-साथ हृदय संबंधित बीमारियों का कारण भी बन सकता है।
नियमित एक्सरसाइज करने की आदत बनाएं। भोजन जीभ के स्वाद के लिए नहीं ब्लकि अपनी सेहत के लिए करें। मांसाहार से बचें क्योंकि रेड मीट का ज्यादा मात्रा में सेवन प्रोस्टेट के लिए हानिकारक हो सकता है। शराब या बीयर का सेवन न करें। अधिक चाय-कॉफी न पिएं क्योंकि इनसे डिहाइड्रेशन होता है और ब्लैडर में विषैले पदार्थों का जमाव होने लगता है।
एक्सपर्ट ज्यादा नमक युक्त भोजन से दूर रहने के साथ-साथ पके भोजन में ऊपर से नमक डालने की प्रवृत्ति से बचने की हिदायत देते हैं। ओमेगा 3 फैटी एसिड से समृद्ध भोजन का चयन समझदारी की बात है, यह सूखे मेवों मे प्रचुर मात्रा में मिलता है। चिप्स, एगरोल, फै्रंचफ्राई आदि से दूर रहें। रोजाना मिठाई खाने की आदत से भी बचना चाहिए।
खूब पिएं पानी
रोजाना दिन में कम से कम तीन-चार लीटर सादा पानी पीने की आदत डालनी चाहिए ताकि शरीर में मौजूद विषैले पदार्थ पेशाब के जरिए आसानी से निकल जाएं।
(डिसक्लेमरः इस जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। इसलिए दर्शकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें)।
Updated on:
08 Jun 2023 06:50 pm
Published on:
08 Jun 2023 06:43 pm
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