गैरी ने कहा कि सतह प्रोटीन उत्परिवर्तन इस वायरस के महामारी के रूप में बदलने का कारण हो सकता है। लेकिन इससे पहले इस वायरस का कमजोर संस्करण वर्षों से यहाँ तक कि दशकों से लोगों के बीच फैल चुका था।
इससे पहले प्रोफेसर गैरी की टीम द्वारा नेचुरल मेडिसिन में प्रकाशित एक पेपर में यह परिणाम साबित हुआ है कि नया कोरोना वायरस प्रकृति में पैदा हुआ।