
डूंगरपुर। आसपुर थानान्तर्गत पचलासा छोटा गांव में करीब सात वर्ष पूर्व एक विवाहिता को जिंदा जला देने के मामले में न्यायालय ने पांच आरोपियों को उम्र कैद की सजा सुनाई है। वहीं, 21 अन्य को दोषमुक्त करते हुए बरी कर दिया। अपर लोक अभियोजक आजाद शाह ने बताया कि आसपुर थाना क्षेत्र के पचलासा छोटा गांव के बहुचर्चित रामु उर्फ रमु उर्फ रामेश्वरी को ज़िंदा जला देने के मामले में न्यायालय अपर जिला एवं सेशन न्यायाधीश दिनेश कुमार गढ़वाल ने फैसला सुनाते हुए ।
कोर्ट ने पचलासा छोटा निवासी कल्याण सिंह पुत्र गौतम सिंह, गजेंद्र सिंह उर्फ गजराज सिंह पुत्र किशोर सिंह, रणजीत सिंह पुत्र गौतम सिंह सिसोदिया, प्रवीण सिंह और ईश्वर सिंह पुत्र भैरू सिंह सिसोदिया को अपराध धारा 458 भादस के आरोप में 14 वर्ष का कठोर कारावास और 50 हजार रुपए अर्थदंड, भादस धारा 364 में आजीवन कारावास और 50 हजार रुपये अर्थदंड, भादस धारा 147 में दो वर्ष का कठोर कारावास और 50 हजार अर्थदंड, धारा 323/149 में एक वर्ष का कठोर कारावास और एक हजार रुपया अर्थदंड, भादस धारा 302/149 में आजीवन कारावास और 50 हजार रुपये अर्थदंड, धारा अंतर्गत 120 बी में आजीवन कारावास और 50 हजार रुपये अर्थदंड, धारा 201/149 में सात वर्ष का कठोर कारावास और 50 हजार रुपये अर्थदंड से दंडित किया।
इस मामले में 21 आरोपियों को बरी कर दिया गया। पचलासा छोटा निवासी कलावती देवी बेवा कचरुलाल सेवक ने गत 5 मार्च, 2016 को थाना आसपुर में दी रिपोर्ट में उसकी पुत्रवधू रमु को जिंदा जला देना का आरोप लगाया था।
Published on:
16 May 2023 05:18 pm
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