
RBI GOVERNOR
नई दिल्ली : सातवें SBI बैंकिंग और इकोनॉमिक्स कॉन्क्लेव में SBI के रजनीश कुमार से वीडियो कांफ्रेंसिंग क दौरान rbi गवर्नर शक्तिकांत दास ( Reserve Bank Of India GOVERNOR SHAKTIKANT DAS ) ने कोरोना को पिछले 100 सालों का सबसे बुरा आर्थिक और स्वास्थ्य संकट करार दिया। उन्होने कहा कि कोरोनावायरस ( COVID-19 ) ने न सिर्फ दुनिया भर में मौजूदा आर्थिक व्यवस्था, श्रम और कैपिटल के मूवमेंट को कम किया है बल्कि सीधे तौर पर उत्पादन के ऊपर नेगेटिव असर डाला है।
पटरी पर लौट रही है भारतीय अर्थव्यवस्था-
इसके साथ ही RBI GOVERNOR ने कहा कि '' लॉकडाउन ( Corona Lockdown ) हटने के बाद भारतीय अर्थव्यवस्था ( Indian Economy ) के वापस सामान्य स्थिति की ओर लौटने के संकेत दिखने शुरू हो गये हैं। हालांकि आरबीआई के नीतिगत कदमों में इस बात का सावधानीपूर्वक आकलन करना होगा कि संकट क्या रूप लेता है.'' उद्योग जगत की तारीफ करते हुए उन्होने कहा कि ''कोरोना संकट में भारतीय कंपनियों और उद्योगों ने बेहतर काम किया। दबाव में फंसी संपत्ति से निपटने के लिये वैधानिक अधिकार संपन्न ढांचागत प्रणाली की जरूरत है।
हालांकि उन्होने कोरोनावायरस ( coronavirus ) की वजह से NPA बढ़ने की बात भी स्वीकारी लेकिन उनका कहना है कि विकास हमारी पहली प्राथमिकता है, वित्तीय स्थिरता भी उतनी ही महत्त्वपूर्ण है। आरबीआई ( RBI ) ने उभरते जोखिमों की पहचान करने के लिए अपने ऑफसाइट निगरानी तंत्र को मजबूत किया है।
RBI द्वारा उठाए कदम- फरवरी 2019 से लेकर अब तक रिजर्व बैंक ( Reserve Bank ) ने कुल मिलाकर रेपो रेट ( REPO Rate ) में करीब 135 बेसिस प्वाइंट की कटौती की है। वह मुख्य रूप से इसलिए किया गया ताकि ग्रोथ में आई गिरावट से निपटा जा सके। इसके अलावा मॉनेटरी पॉलिसी ने भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा रेपो रेट में 115 बेसिस प्वाइंट तक की कटौती करने का फैसला किया है । इस तरह से फरवरी 2019 से लेकर आने वाले समय में रेपो रेट में कुल कटौती 250 बेसिस प्वाइंट हो जाएगी।
Published on:
11 Jul 2020 03:03 pm
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