
India rank 129 in Human Development Index, Pakistan gains three places
नई दिल्ली।संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम ( United Nations Development Program ) के अनुसार 2019 में मानव विकास सूचकांक ( Human Development Index ) में भारत को एक स्थान का फायदा हुआ है। जिसकी वजह से भारत 189 देशों की सूची में 130 वीं रैंक से उठकर 129वीं रैंक पर आ गया है। वहीं दूसरी ओर पाकिस्तान को तीन पायदान का फायदा मिला है। इसके अलावा बांग्लादेश को दो पायदान का फायदा हुआ है। उसके बाद भी एशिया के तीनों बड़े देश श्रीलंका, ईरान और चीन से काफी पीछे हैं। यूएनडीपी ( undp ) की भारत में स्थानीय प्रतिनिधि शोको नोडा के अनुसार भारत में 2005-06 से 2015-16 के बीच 27.1 करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर निकाला गया। उसके बाद भी भारत की हालत अच्छी नहीं है। ऐसे कई छोटे देश हैं जो भारत से काफी आगे हैं। उन्होंने आगे कि बीते 30 सालों में भारत का विकास काफी तेज गति से हुआ है। जिसकी वजह से देश में गरीबों की संख्या में काफी कमी आई है। वहीं जीवन प्रत्याशा, शिक्षा और स्वास्थ्य सुविधाओं तक पहुंच में बढ़ोतरी के कारण भी रैंकिंग सुधरी है।
पाकिस्तान और बांग्लादेश को भारत से ज्यादा फायदा
वहीं भारत के पड़ोसी देशों की बात करें तो पाकिस्तान और बांग्लादेश को ज्यादा फायदा हुआ है। भले ही भारत की रैंकिंग दोनों देशों मुकाबले बेहतर हों, लेकिन दोनों ही अपनी स्थिति को ठीक करने में जुटे हुए हैं। खासकर बांग्लादेश की बात करें तो इस इंडेक्स में उसे दो पायदान का फायदा हुआ और 134 वीं रैंक पर पहुंच गया। बांग्लादेश की एचडीआई वैल्यू 0.608 है। वहीं पाकिस्तान की बात करें तो वो तीन पायदान उठकर 150 से 147 वीं रैंक पर आ गया है। पाकिस्तान की एचडीआई वैल्यू 0.562 हैं। मानव विकास सूचकांक के अनुसार किसी अन्य क्षेत्र में इतनी तेजी से मानव विकास प्रगति नहीं हुई है। सर्वाधिक प्रगति दक्षिण एशिया में हुई है, जहां 1990-2018 के दौरान 46 फीसदी बढ़ोतरी हुई, जबकि पूर्वी एशिया और प्रशांत क्षेत्र में 43 फीसदी वृद्धि देखने को मिली है।
ये देश हैं टॉप टेन में
इस सूचकांक में नॉर्वे, स्विटजरलैंड, ऑस्ट्रेलिया, आयरलैंड और जर्मनी टॉप पर हैं जबकि नाइजर, दक्षिण अफ्रीकी गणराज्य, दक्षिण सूडान, चाड और बुरुंडी काफी कम एचडीआई वैल्यू के साथ फिसड्डी देशों में शुमार हैं। आपको बता दें कि मानव विकास सूचकांक यानी ह्यूमन डिवेलपमेंट इंडेक्स जीवन प्रत्याशा, शिक्षा, और आय सूचकांकों का एक संयुक्त सांख्यिकीय सूचकांक है। इस मेथड को अर्थशास्त्री महबूब-उल-हक ने तैयार किया था। पहला मानव विकास सूचकांक 1990 में जारी हुआ था। तब से हर साल संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम द्वारा इसे प्रकाशित किया जाता है।
Updated on:
09 Dec 2019 07:18 pm
Published on:
09 Dec 2019 07:17 pm
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