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इंदौर से आते संभावित संकट से प्रशासन अलर्ट मोड पर

इंदौर से आने वाले स्वयं दें प्रशासन को जानकारी : अब तक 485 चिन्हित

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इंदौर से आते संभावित संकट से प्रशासन अलर्ट मोड पर

इंदौर से आने वाले स्वयं दें प्रशासन को जानकारी : अब तक 485 चिन्हित

गाडरवारा।प्रदेश में इंदौर शहर कोरोना संकट का केन्द्रबिंदु बन गया है। इंदौर में कोरोना के पाजीटिव मरीजों की संख्या तीन अंकों में पहुंच गई है और यह आंकड़ा दिन प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है। चूंकि इंदौर प्रदेश की व्यापारिक राजधानी है और शिक्षा का सबसे बड़ा केन्द्र है। इस कारण प्रदेश के बाकी हिस्सों का इंदौर से सघन संपर्क है। लाक डाउन के पूर्व व उसके बाद भी बड़ी संख्या में नरसिंहपुर जिले व गाडरवारा क्षेत्र में लोगों की इंदौर से वापसी हुई है। जिनमें बड़ी संख्या में छात्र, छा़त्राएं हंै। इंदौर से ही 19 मार्च को छिंदवाड़ा लौटे युवक के कोरोना पाजिटिव निकलने और फिर उसकी मौत ने नरसिंहपुर जिला प्रशासन को सकते में ला दिया है। आनन फानन में इंदौर से लौट कर 15 मार्च के बाद वापिस आने वाले लोगों की खोजबीन के लिए जिला प्रशासन ने आदेश जारी कर दिए। ऐसे सभी लोगों व उनके परिजनों को आदेशित किया गया है कि वे ऐसे लोगों की जानकारी विधिवत प्रशासन को दें और ऐसे लोग होम क्वरेंटाइन हो जाएं। ऐसे सभी लोगों का स्वास्थ्य परीक्षण प्रशासन द्वारा किया जाएगा। प्राप्त जानकारी अनुसार गाडरवारा क्षेत्र में इस अवधि में आने वाल 485 लोगों की जानकारी प्रशाासन के पास आ चुकी है। अफसोस की बात यह है कि कई परिवार इस तरह की जानकारी प्रशासन को देने में कतरा रहे हैं, और इस तरह से वे अपने स्वयं के परिवार व समाज एवं क्षेत्र को कोरोना के संभावित खतरे में ढकेल रहे हैं। आवश्यक है कि ऐसे लोग, उनका परिवार, व मुहल्ले पड़ोस के लोग यह जानकारी प्रशासन तक पहुंचाने में तत्काल मदद करें, वरना इस गलती का खामियाजा सबसे पहले उन्हें खुद भुगतना पड़ सकता है।
इनका कहना,,
इंदौर से 15 मार्च के बाद लौटे सभी लोगों व उनके परिवार से अपेक्षा की जाती है कि वे अविलंब प्रशासन को इस बावत सूचित कर सहयोग करें, और ऐसे लोग तत्काल होम क्वरेंटाइन हो जाएं। ताकीद किया जाता है कि यदि जानकारी छुपाई जाती है तो ऐसे लोगों के खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई करने के लिए प्रशासन बाध्य होगा।
राजेश शाह, एसडीएम गाडरवारा