
Ambedkar statue controversy (फोटो सोर्स- ANI)
Ambedkar statue controversy: डॉ बाबासाहेब आंबेडकर की प्रतिमा को लगाने को लेकर हाईकोर्ट बार एसोसिएशन, राजनीतिक दल, सामाजिक संगठन आमने-सामने हैं। प्रतिमा लगाए जाने के लिए प्रदर्शन किए जा रहे हैं। वहीं दूसरी और हाईकोर्ट बार एसोसिएशन प्रतिमा के विरोध कर रही है। बार के पदाधिकारियों का कहना है कि बिल्डिंग कमेटी ने प्रतिमा लगाने का प्रस्ताव पास नहीं किया है। अवैध तरीके से प्रतिमा लगाई जा रही है। बार को भरोसे में नहीं लिया है। इस पूरी स्थिति को देखते हुए प्रतिमा का लगाने का मामला बिल्डिंग कमेटी में भेजा गया है।(MP News)
उत्तर प्रदेश के नगीना से सांसद चंद्रशेखर रावण शनिवार को ग्वालियर एयरपोर्ट पर पहुंचे। ग्वालियर से झांसी के लिए रवाना हुए, लेकिन उन्होंने मीडिया से कहा कि डॉ बाबासाहेब आंबेडकर की प्रतिमा हाईकोर्ट में लगे। इसके लिए चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया को पत्र लिखा है। चीफ जस्टिस इस पीड़ा को समझेंगे। मेरा विश्वास है कि वह मूर्ति लगेगी। प्रतिमा को लेकर 18 जून क बैठक बुलाई है। भीम आर्मी वहीं उतरती है, जहां अन्याय हो रहा होता है। वकीलों की भाषा देखिए वह चैलेंज कर रहे थे। कह रहे थे कि भीम आर्मी को आना चाहिए… आना चाहिए। अभी इतने लोग एकत्रित हुए, किसी ने कुछ कहा। (MP News)
हाईकोर्ट परिसर में डॉ बाबा साहेब आंबेडकर की प्रतिमा लगाए जाने का मामला बिल्डिंग कमेटी के समक्ष रखा जाना है। सभी पक्षों ने जो ज्ञापन दिए हैं, उन ज्ञापनों पर सुनवाई कर आगे का फैसला सुनाया जाएगा, लेकिन हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष पवन पाठक ने अपना रुख स्पष्ट किया है कि पेडस्टल पर राष्ट्रध्वज लग चुका है। राष्ट्रध्वज से कोई बड़ा नहीं है। इसे नहीं हटाया जा सकता है। इसे हटाकर अपमान किया तो बार बर्दाश्त नहीं करेगी।(MP News)
राज्यसभा दिग्विजय सिंह ने हाईकोर्ट में डॉ. आंबेडकर की प्रतिमा लगाए जाने का समर्थन करते हुए कहा, सामाजिक न्याय के लिए लगातार संघर्ष करना पड़ेगा। जो लोग विरोध कर रहे हैं उन्हें संविधान का जान नहीं है। मैं पक्का सनातनी हूं जो समता की समानता की सामाजिक न्याय की बात करता है वही सनातनी है बगैर सामाजिक न्याय के सनातनी नहीं हो सकते हैं।(MP News)
शनिवार को चेंबर ऑफ कॉमर्स में ओबीसी महासभा दलित शोषण मुक्ति मंच और गांधीवादी संगम की ओर से सामाजिक न्याय सम्मलेन में पहुंचे थे। इस मौके पर जवाहरलाल नेहरु विश्वविद्यालय जेएनयू छात्र संघ की पूर्व अध्यक्ष आईसी घोष ने कहा, ग्वालियर हाईकोर्ट में ही नहीं देशभर में संधी विचारधारा बाबा साहब और संविधान के खिलाफ साजिश रचते रहे हैं। सत्ता का लाभ उठाकर वह मनुस्मृति को लागू करना चाहते हैं। जो पूरी तरह सामाजिक न्याय के खिलाफ है दलितों, पिछड़ों, महिलाओं के अधिकारों को छीनने के लिए वह संविधान और बाबा साहब का विरोध करते हैं।(MP News)
Updated on:
15 Jun 2025 12:14 pm
Published on:
15 Jun 2025 08:46 am
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