भुट्टे को पकाने के बाद उसके 50 प्रतिशत एंटी-ऑक्सीअडेंट्स बढ़ जाते हैं। यह बढती उम्र को रोकता है और कैंसर से लड़ने में मदद करता है। पके हुए भुट्टे में फोलिक एसिड होता है जो कि कैंसर जैसी बीमारी में लड़ने में बहुत मददगार होता है।
जयपुरPublished: Jul 31, 2020 11:53:36 pm
विकास गुप्ता
भुट्टा ऐसा अनाज है जिसे पकाने के बाद भी उसके पौष्टिक और एंटीऑक्सीडेंट गुण नष्ट नहीं होते बल्कि बढ़ जाते हैं।
Eat corn in the rainy season
बारिश के मौसम में कच्ची मक्का या भुट्टा बेहद फायदेमंद माना जाता है। भुट्टा ऐसा अनाज है जिसे पकाने के बाद भी उसके पौष्टिक और एंटीऑक्सीडेंट गुण नष्ट नहीं होते बल्कि बढ़ जाते हैं।
पेट के अल्सर से छुटकारा दिलाने में भुट्टे मददगार होते हैं।
कॉर्नफ्लेक्स के रूप में लेने पर यह हृदयरोग की रोकथाम में सहायक होता है।
इसमें विटामिन बी और फॉलिक एसिड होता है जिससे खून की कमी दूर होती है।
इससे आयरन की कमी पूरी होती है। भुट्टा लाल रक्त कोशिकाओं के निर्माण में खास भूमिका निभाता है।
भुट्टा आंतों में बैक्टीरिया या बीमारी फैलाने वाले जीवाणुओं को खत्म करता है जिससे कब्ज-बवासीर जैसी पाचन संबंधी समस्याएं नहीं होती।
इससे दांत और मसूड़े भी मजबूत होते हैं।
भुट्टे को पकाने के बाद उसके 50 प्रतिशत एंटी-ऑक्सीअडेंट्स बढ़ जाते हैं। यह बढती उम्र को रोकता है और कैंसर से लड़ने में मदद करता है। पके हुए भुट्टे में फोलिक एसिड होता है जो कि कैंसर जैसी बीमारी में लड़ने में बहुत मददगार होता है।