
कम नींद से बढ़ता है अल्जाइमर का खतरा
अमरीका के बोस्टन यूनिवर्सिटी में हुए एक शोध कहा गया है कि कम नींद लेने से मानसिक व वृद्धजन वाली बीमारी अल्जाइमर का खतरा अधिक रहता है। वहां हुए एक शोध में कहा गया है कि जब हम गहरी नींद यानी डीप स्लीप में होते हैं तो उस वक्त दिमाग में कुछ ऐसे इलेक्ट्रिकल सिग्नल्स निकलते हैं, जो ब्रेन की सफाई करते हैं। या कहिए कि ब्रेन में भर चुकी बेकार की जानकारी को साफ करने वाली प्रॉसेस को तेज करते हैं। इससे बुढ़ापा देरी से आता है। ब्रेन में ब्लड की कमी और टॉक्सिन्स को दूर करने वाले फ्लूइड के लिए अधिक स्पेस होता है। यह फ्लूइड अल्जाइमर करने वाले टॉक्सिन्स को भी दिमाग से दूर करता है।
एक्सपर्ट कमेंट
डीप स्लीप में जाते हैं तो ब्रेन के सोचने की क्षमता रिसेट होती है। ब्रेन स्वत: ही मेमोरी की स्टोरेज की सफाई करता और नुकसान पहुंचाने वाले टॉक्सिन्स को दूर करता है। इससे अल्जामइर से बचाव होता है। डॉक्टर्स की मानें तो हर व्यक्ति को स्वथ्य रहने के लिए रोजाना करीब 6-7 घंटे की अच्छी नींद जरूरी होती है।
Published on:
06 Dec 2019 08:30 pm
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