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Corona Alert : फेफड़े ही नहीं शरीर के इन अंगों को भी कोरोना से खतरा

-अमरीका, इटली और चीन के वैज्ञानिकों के अध्ययन में आया सामने -दिल और मांसपेशियों में सूजन की भी शिकायत

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Pushpesh Sharma

May 12, 2020

Corona Alert : फेफड़े ही नहीं शरीर के इन अंगों को भी कोरोना से खतरा

Corona Alert : फेफड़े ही नहीं शरीर के इन अंगों को भी कोरोना से खतरा

न्यूयॉर्क. कोरोनावायरस मुख्य रूप से फेफड़ों पर हमला करता है। इसी के चलते खांसी और सांस लेने में तकलीफ जैसे लक्षण नजर आते हैं। लेकिन नए अध्ययन में सामने आया है कि कोरोना शरीर के अन्य अंगों जैसे मस्तिष्क, हृदय, किडनी और त्वचा पर भी पर भी हमला करता है। इटली, अमरीका और चीन में हाल ही कुछ रोगियों पर किए अध्ययन में सामने आया है कि कोरोना हार्ट को भी नुकसान पहुंचाता है। इनमें कई रोगी तो ऐसे थे जिन्हें पहले से हृदय संबंधित कोई बीमारी नहीं थी। कोरोना के असर से इनके हृदय की मांसपेशियों में सूजन भी देखी गई। हालांकि अभी ये शोध का विषय है कि कोरोना ने सीधे ही हृदय पर असर किया अथवा प्रतिरक्षा तंत्र के किसी इन्फेक्शन के कारण ऐसा हुआ। इससे पहले सार्स और मर्स वायरस से भी मरीजों के हृदय को नुकसान पहुंचा था।

ठीक होने के बाद भी फेफड़ों को नुकसान
कोविड-19 बीमारी होने के दौरान सबसे ज्यादा नुकसान फेफड़ों को होता है, लेकिन चिंताजनक बात ये है कि बीमारी खत्म होने के बाद भी फेफड़ों का नुकसान ठीक नहीं हो रहा है। चीन में शोध के बाद पता चला है कि कोविड-19 बीमारी से ठीक हुए कई मरीजों के फेफड़ों के कुछ हिस्सों ने काम करना बंद कर दिया। जबकि कुछ रोगियों के फेफड़ों के 20 से 30 प्रतिशत हिस्से ने काम करना बंद कर दिया है। अब वैज्ञानिक शोध कर रहे हैं कि कहीं ये पलमॉनरी फाइब्रोसिस की समस्या तो नहीं है, जिसमें फेफड़ों का एक हिस्सा पूरी तरह से काम करना बंद कर देता है।

नसों में सूजन से खून के आपूर्ति पर असर
ज्यूरिख के यूनिवर्सिटी हॉस्पिटल के डॉक्टरों ने कोरोना के शिकार हुए रोगियों के शरीर की ऑटोप्सी के दौरान देखा कि इनकी नसों में सूजन आ गई थी। इससे हृदय को नुकसान होता है और पल्मोनरी एंबोलिज्म की दिक्कत शुरू होती है। इससे शरीर में खून की आपूर्ति पर असर पड़ता है, जो दिमाग पर भी असर डालती है और रोगी की मौत तक हो सकती है।

दिमाग की कोशिकाओं पर दुष्प्रभाव
सार्स और मर्स वायरस के दौरान तंत्रिका कोशिकाओं के जरिए दिमाग में पहुंचने वाले वायरस से दिमाग को नुकसान हुआ था। जापान में कोरोना के एक मरीज को मिर्गी के दौरे पड़े तो डॉक्टरों को पता चला कि उसके दिमाग में सूजन आ गई है। यह वायरस कारण हुआ, जो दिमाग तक पहुंच गया था। चीन और जापान के शोधकर्ताओं ने पता लगाया कि कोरोनावायरस श्वसन तंत्र के साथ-साथ दिमाग को भी नुकसान पहुंचा रहा है। ये दिमाग की कोशिकाओं को मारना शुरू कर देते हैं। इसी वजह से कोविड-19 के कई मरीज सांस लेने में परेशानी के बिना भी दम तोड़ देते हैं।

किडनी पर यूं दिखता है असर
यदि कोविड-19 से प्रभावित मरीज को निमोनिया भी है और उसे वेंटिलेटर पर ले जाया जाता है तो उसके किडनी को भी नुकसान हो सकता है। यहां तक की उसकी किडनी काम करना बंद भी कर सकती है। निमोनिया की वजह से फेफड़ों में बड़ी मात्रा में द्रव इक_ा होने लगता है। इस द्रव को हटाने के लिए मरीज को दवाएं दी जाती हैं। इन दवाओं से किडनी में होने वाली खून की सप्लाई प्रभावित होती है जो किडनी पर असर डालती है। कोविड-19 से प्रभावित मरीजों के शरीर में खून का जमना भी तेज हो जाता है। इसके चलते नसों में खून के थक्के बनने लगते हैं। जिससे नसों में खून की सप्लाई रुक जाती है। किडनी में भी खून की सप्लाई इससे कम हो जाती है। दिक्कत इतनी बढ़ जाती है कि रोगी को डायलिसिस की जरूरत पड़ती है। हालांकि ये अब तक पता नहीं चला है कि कोरोना से उबरने के बाद किडनी ठीक हो जाती है या ये समस्या लंबे समय तक बनी रहती है।

त्वचा पर धब्बे नजर आते हैं
कई कोरोना संक्रमितों के पैर के अंगूठे पर बैंगनी रंग का धब्बा दिखाई दे देता है। ऐसे धब्बे अक्सर खसरा या चिकन पॉक्स में दिखते हैं। हालांकि डॉक्टरों का मानना है कि ये छोटा बैंगनी निशान पैर में जमे खून के थक्के की वजह से हो सकता है।