ये भी पढ़ें: बमकांड ने गिरा डाली इंदौर की वोटिंग, मंत्री कैलाश विजयवर्गीय को लगा बड़ा झटका ! ऐसे में इस चरण के लिए हुए मतदान पर सभी की निगाहें लगी रहीं। इंदौर लोकसभा में कांग्रेस उम्मीदवार के पाला बदलने से यहां कांग्रेस को झटका लगा, लेकिन अन्य सीटों पर कांग्रेस का भाजपा उम्मीदवारों से आमने-सामने का मुकाबला रहा। 2019 में कांग्रेस का प्रदर्शन निराशाजनक था। 29 में से मात्र एक सीट छिंदवाड़ा मिली थी। इस बार कांग्रेस बेहतर परिणाम की उम्मीद में है। पार्टी का अनुमान है कि 8 से 10 सीटें मिलेंगीं।
71.72 प्रतिशत हुआ मतदान (Election 2024)
प्रदेश की आठ सीटों पर चौथे चरण में अब तक का सबसे ज्यादा 71.72 प्रतिशत मतदान हुआ। फिर भी यह पिछले चुनाव का आंकड़ा नहीं छू पाया। इसके साथ ही राज्य की सभी 29 सीटों पर मतदान खत्म हो गया। चारों चरण में मप्र में 66.20% मतदान हुआ, जो 2019 के 71.16% से 4.96% कम है। चौथे चरण में सबसे ज्यादा मतदान खरगोन में 75.79% और सबसे कम इंदौर में 61.75% हुआ। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी अनुपम राजन ने बताया कि मतदान के दौरान कई जगह अंधड़-बारिश हुई, फिर भी मतदाता बूथों पर गए। प्रदेश में लोकसभा चुनाव में विधानसभा 2023 से 11.62 फीसदी कम वोटिंग हुई है। विधानसभा में 77.82% वोटिंग हुई। चौथे चरण की 8 सीटों पर भी विस से 2.75 % कम वोटिंग हुई है। विस में मतदान प्रतिशत 74.47 रहा, वहीं लोस में 71.72 % वोटिंग हुई है।