अपराध में जब्त मोबाइल, गैजेट्स का डाटा रिकवर करने में होगी आसानी
इंदौर. साइबर संबंधी अपराधों की जांच के लिए शहर में जल्द ही हाइटेक लैब शुरू होगी। लैब में गंभीर अपराधों की जांच रिपोर्ट कम से कम समय में पुलिस को मिलेगी। महिला संबंधी अपराधों के साथ सेक्सटॉर्शन, ठगी और वीडियो वायरल होने के मामलों की तत्काल जांच हो सकेगी। इससे पुलिस जल्द से जल्द अपराधी तक पहुंच सकेगी।
मालूम हो, शहर में साइबर अपराध बढ़ गए हैं। लोन ऐप फ्रॉड, फॉरेक्स फ्रॉड, निवेश और एडवाइजरी के नाम पर धोखाधड़ी, क्रेडिट कार्ड फ्रॉड, सेक्सटॉर्शन, ऑनलाइन डाटा चोरी, अश्लील वीडियो वायरल करने की धमकी देकर बलात्कार जैसी वारदातों से लोग परेशान हैं। जांच अधिकारियों का दावा है कि साइबर संबंधी अपराधों में महिलाएं और युवतियां ज्यादा पीडि़त हैं।
जांच रिपोर्ट में देरी से बढ़ रही शिकायतें
अभी भोपाल स्तर पर साइबर रिपोर्ट पेंडिंग: 50 से 60
जनवरी से जुलाई 2023 तक क्राइम ब्रांच में पहुंची साइबर संबंधी शिकायतें: करीब 4500
सितंबर से होगी शुरुआत
क्राइम ब्रांच में लैब बन रही है। सितंबर में काम पूरा हो जाएगा। साइबर संबंधी अपराधों की जांच में सबसे महत्वपूर्ण भूमिका स्पेशल सॉफ्टवेयर की रहेगी। लैब में काम करने वाले कर्मचारियों को प्रशिक्षित किया जाएगा। अधिकांश केस में साइबर जांच जरूरी होती है। जांच के लिए सैंपल भोपाल स्थित साइबर लैब भेजे जाते हैं। कई अपराधों में साइबर रिपोर्ट महत्वपूर्ण होती है। जैसे किसी महिला के साथ अपराध हुआ है और उनके मोबाइल या अन्य गैजेट्स से डाटा किसी ने डिलीट किया है तो लैब में डाटा रिकवर करने में आसानी होगी। रिपोर्ट जल्द तैयार होने से केस की जांच में तेजी आएगी। लैब खुलने से शहर के पीडि़तों को राहत मिलेगी।निमिष अग्रवाल, डीसीपी, क्राइम ब्रांच