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शहर में सांठगांठ से चल रहा रेत का खेल, तीन दर्जन ट्रेक्टर ट्रॉलियों को दे रखी है छूट

-छलनी की जा रही हैं रेत की खदान

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avedhkhananbaran

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इटारसी। शहर में रेत का खेल चरम पर है। रेत खदानों पर प्रतिबंध के बावजूद बड़ी संख्या में रेत की ट्रॉलियां आना मिलीभगत से हो रहे कारोबार की ओर इशारा कर रहा है। बेधड़क शहर की सड़कों पर रेत से भरी ट्रॉलियां दौड़ रही हैं मगर वे ना खनिज विभाग को दिख रही हैं और ना पुलिस की नजर में आ रहीं हैं।
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यहां से आ रही है रेत
रेत की खदानें मरोड़ा, ग्वाड़ी, होरियापीपर और मेहराघाट में हैं। यही से रेत निकालने का काम पूरे संगठित तरीके से हो रहा है। इस काम में कथित रूप से पुलिस, ठेकेदार और रेत माफिया सक्रिय हैं। सूत्रों के मुताबिक ग्वाड़ी और मरोड़ा रेत खदान पर करीब15 ट्रॉली सक्रिय हैं। वहीं मेहराघाट और होरियापीपर की खदान से करीब 30 ट्रॉली वाले सांठगांठ से जुड़े हुए हैं।
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कहां कितनी एंट्री
रेत के कारोबार से जुड़े सूत्रों ने बताया कि तीन लोगों के पास 12-12-12 हजार के हिसाब से दक्षिणा चढ़ाई जा रही है। वहीं एक जगह 20 हजार देने की बात तय हुई है। इसी में देहात थाने से जुड़ी एक चौथी पार्टी भी दबाव डाल रही है कि उसकी दक्षिणा 10 हजार जब तक नहीं मिलेगी तब तक पांजरा ट्रॉलियां पार नही होंगी। इतनी दक्षिणा के कारण ही रेत की ट्रॉली के दाम 3500 से 4 हजार चल रहे हैं।
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रिसीव नहीं हुआ फोन
शहर में रेत के अवैध व्यापार को लेकर जिला खनिज अधिकारी महेंद्र पटेल से संपर्क करने का प्रयास किया गया मगर उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया जिससे उनकी प्रतिक्रिया नहीं मिल पाई।