
Names of electricity bill defaulters in MP will be exposed on social media
electricity power cut : ट्रांसमिशन क्षेत्र में मोनोपोल तकनीक का अहम योगदान है। इसलिए शहर के सबसे पॉश और वीआइपी क्षेत्रों में निर्बाध बिजली आपूर्ति करने के लिए मध्य प्रदेश पॉवर ट्रांसमिशन कम्पनी नया गांव सब स्टेशन से विनोबा भावे सब स्टेशन को एक अतिरिक्त हाईटेंशन लाइन से जोड़ेगी। इसके लिए मोनोपोल टॉवर का उपयोग किया जाएगा। यह पहली बार है, जब शहर में मोनोपोल टॉवर लगाए जाएंगे। इसमें तीन करोड़ रुपए खर्च होंगे।
मोनोपोल ट्रांसमिशन लाइन का फाउंडेशन सौ वर्ग फीट (10 बाय 10 फीट) में बन जाता है। निर्माण के बाद यह जगह और कम होकर पांच वर्ग फीट रह जाती है। जरूरत पडऩे पर इसकी ऊंचाई कम या ज्यादा की जा सकती है। ये 35 मीटर से 50 मीटर तक बढ़ाए और घटाए जा सकते है। इसे एक एक्सटेंशन के साथ एक बार में 15 मीटर और ऊपर किया जा सकता है।
सिविल लाइंस, कलेक्ट्रेट, घमापुर, शीतलामाई, कांचघर, चुंगी चौकी, सिद्धबाबा, बर्न स्टैंडर्ड कम्पनी, कृष्णा कॉलोनी, समदडिय़ा कॉलोनी, समीक्षा टाउन, पुलिस लाइन, जीआरपी लाइन समेत अन्य।
नयागांव से हाईटेंशन लाइन न्यू कंचनपुर और वीकल फैक्ट्री से होकर विनोबा भावे सब स्टेशन तक बिछाई जानी है। न्यू कंचनपुर और रिछाई में अतिक्रमण के कारण सामान्य टॉवर के लिए जगह नहीं मिल रही थी। इसलिए ट्रांसमिशन कम्पनी के एमडी सुनील तिवारी ने दोनों स्थानों का निरीक्षण कर मोनोपोल टॉवर लगाने के निर्देश दिए।
ट्रांसमिशन कम्पनी वर्तमान में ट्रांसमिशन लाइन बिछाने के लिए जिन पारम्परिक (सामान्य) टॉवरों का उपयोग करती है, उनकी कीमत मोनोपोल टॉवर के की तुलना में चार गुना कम होती है। सामान्य टॉवर की लागत 30 लाख रुपए और मोनोपोल की लागत डेढ़ करोड़ रुपए तक हो सकती है।
शहर में पहली बार दो मोनोपोल टॉवर लगाए जा रहे हैं, जो नया गांव से विनोबा भावे सब स्टेशन तक 132 केवीए लाइन को जोड़ेंगे। इसमें तीन करोड़ रुपए खर्च होंगे। विनोबा भावे सब स्टेशन में दो हाईटेंशन सप्लाई लाइन से उपभोक्ताओं को फायदा होगा।
सुनील तिवारी, एमडी, एमपी ट्रांसमिशन कम्पनी
Updated on:
29 Aug 2024 01:45 pm
Published on:
29 Aug 2024 01:39 pm
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