script10 महीने से शासन स्तर पर दबी पड़ी है नर्मदा समृद्धि योजना की फाइल | Narmada Samriddhi Corridor scheme went in cold storage | Patrika News

10 महीने से शासन स्तर पर दबी पड़ी है नर्मदा समृद्धि योजना की फाइल

locationजबलपुरPublished: Nov 06, 2020 02:23:28 pm

Submitted by:

Ajay Chaturvedi

-एक साल बीतने को पर नहीं हो सका सड़क बनाने का निर्णय

नर्मदा समृद्धि कॉरिडोर

नर्मदा समृद्धि कॉरिडोर

जबलपुर. मध्य प्रदेश में सत्ता परिवर्तन क्या हुआ नर्मदा समृद्धि कॉरिडोर योजना ठंडे बस्ते में चली गई। नगर एवं ग्राम निवेश विभाग ने 3 जनवरी 2020 को नए एलायमेंट वाला नोटिफिकेशन जारी किया था। पर उसके बाद से एक साल बीतने को है पर सड़क बनाने का निर्णय अब तक नहीं लिया जा सका। स्थानीय स्तर से शासन को महीनों पहले प्रस्ताव भेजा गया था जिसका कोई जवाब नहीं मिला।
बता दें कि नर्मदा नदी के तटीय हिस्से तिलवारा से भटौली यानी ग्वारीघाट के बीच नर्मदा समृद्धि कॉरीडोर तैयार करने की महत्वाकांक्षी योजना बनी थी। इसके तहत तिलवारा से ग्वारीघाट तक पिच रोड बनाई जानी प्रस्तावित रही। पहले इस सड़क की चौड़ाई 60 मीटर रखी गई थी लेकिन बाद में उसे आधा कर 30 मीटर कर दिया गया था। इसके लिए नया अलायमेंट जारी किया गया था।
नगर एवं ग्राम निवेश संचालनालय भोपाल की ओर से जारी तिलवारा से भटौली के बीच नए एलायमेंट में प्रस्तावित मार्ग का नोटिफिकेशन जारी किया था। दरअसल सड़क की चौड़ाई कम करने के पीछे ग्वारीघाट के आसपास रहने वालों के निर्माण को बचाने के लिए चौड़ाई कम की गई थी।
नए नोटिफिकेशन में सड़क की चौड़ाई 30 मीटर कर दी गई। ऐसा करने पर सड़क की लंबाई लगभग 12 किमी से ज्यादा हो रही है। इस पूरी लंबाई में सात गांव की भूमि अधिग्रहित की जाएगी। इनमें तिलवारा, ललपुर, ग्वारीघाट, जिलहरी घाट, भटौली और परसवारा और गौरेया घाट गांव शामिल होंगे।
“नर्मदा समृद्धि कॉरीडोर की सड़क का नया एलायमेंट नोटिफिकेशन जनवरी 2020 में ही जारी हो चुका था। प्रस्ताव शासन स्तर पर भेजा गया है। अब शासन को ही निर्णय लेना है।”-नीरज आनंद लिखार, संयुक्त संचालक नगर एवं ग्राम निवेश
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