
जयपुर। भांकरोटा व साइबर सेल जयपुर पश्चिम ने गुरुवार को जाली दस्तावेज बनाकर अवैध रूप से रह रहे 6 संदिग्ध बांग्लादेशी नागरिक और एक भारतीय सहयोगी को गिरफ्तार कर लिया। जबकि 6 संदिग्ध बांग्लादेशी नाबालिग और दिव्यांग को देखभाल के लिए सीडब्ल्यूसी एवं शिशुगृह में भेज दिया।
पुलिस ने उनके कब्जे से बांग्लादेशी-भारतीय पासपोर्ट जब्त किए। साथ ही कई अन्य जाली दस्तावेज से बनाए भारतीय दस्तावेज भी जब्त किए हैं। पुलिस अब उनके स्थानीय नेटवर्क और बांग्लादेश से चोरी-छिपे भारत में घुसपैठ के नेटवर्क को खंगाल रही है।
डीसीपी (वेस्ट) अमित कुमार ने बताया कि सोहाग खान और उसकी बहन शबनम जेडीए कॉलोनी जयसिंहपुरा में परिवार सहित रहती है। दोनों की गतिविधियां संदिग्ध लगी तो भांकरोटा थाना पुलिस और साइबर सेल ने इन पर निगरानी बढ़ाई। सर्च में सोहाग खान के पास फर्जीवाड़े से बनवाया आधार कार्ड, श्रम कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, पेन कार्ड के साथ बांग्लादेश का बना हुआ पासपोर्ट मिला जिसमें उसका नाम सोहाग नवाज था।
शबनम के पास भी जन आधार, वोटर आइडी और राशन कार्ड सहित बांग्लादेश का बना पासपोर्ट बरामद हुआ। पूछताछ में उन्होंने बांग्लादेशी होने और स्थानीय मददगारों की जरिये फर्जी दस्तावेज तैयार करने की बात बताई। इसी तरह अन्य लोगों के पास से फर्जी दस्तावेज बरामद किए।
जयसिंहपुरा भांकरोटा निवासी सोहाग खान, पत्नी नसरीन खानम, बेटा मोईन खान, शबनम, शीबा खान, शबनूर को गिरफ्तार किया है। साथ ही भारतीय सहयोगी जेडीए फ्लैट जयसिंहपुरा निवासी उस्मान खान को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने संदिग्ध बांग्लादेशी परिवार के 6 नाबालिगों और एक दिव्यांग को सीडब्ल्यूसी में भेजा है।
शबनम ने बेटी शीबा की शादी भी भारतीय मददगार उस्मान से करवा दी थी। उस्मान के पास भी कई लोगों के संदिग्ध दस्तावेज मिले हैं। पूछताछ में बताया कि ये दस्तावेज उसकी सास शबनम के द्वारा बनवाए गए हैं। सास शबनम के भाई सोहाग खान और उसकी पत्नी नुसरत व बच्चों के बांग्लादेशी होने के कारण फर्जी दस्तावेज जयपुर में ही बनवाए गए थे। पुलिस अब उनकी भी तलाश कर रही है जिन्होंने फर्जी भारतीय दस्तावेज बनाए।
सोहाग ने पूछताछ में बताया कि वह बीस साल पहले भारत आया था। जयपुर में अलग-अलग जगह रहा था। इस दौरान उसने फर्जी तरीके से आधार कार्ड बना लिया। उसके जरिये ही भारतीय पासपोर्ट सहित अन्य दस्तावेज बनाए थे। लेकिन पुलिस ने आरोपी का यात्रा रिकॉर्ड चैक कराया तो सामने आया कि वह पिछले वर्ष आठ दिसंबर को ही बांग्लादेश से भारत आया था। आरोपी ने उस्मान के जरिये ही फर्जी दस्तावेज बनवाए थे। आरोपी ने फर्जी दस्तावेज के आधार पर जेडीए से जयसिंहपुरा में फ्लैट भी अलॉट करवा लिया। तब से वहीं पर रह रहे थे।
Updated on:
24 Oct 2024 12:43 pm
Published on:
24 Oct 2024 08:52 am
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