
जयपुर। भाजपा ने सोमवार देर शाम विधानसभा के बाहर लाल डायरी का एक कवर जारी किया, जिस पर लिखा था ' भ्रष्टाचार कृत लाल किताब'। नेता प्रतिपक्ष राजेन्द्र राठौड़, उपनेता प्रतिपक्ष सतीश पूनिया, विपक्ष के सचेतक जोगेश्वर गर्ग सहित कई नेताओं ने किताक का यह कवर जारी किया।
राजेन्द्र राठौड़ ने कहा कि लाल डायरी में यदि तनिक भर भी सत्यता है तो यह राजस्थान के इतिहास की सबसे भ्रष्ट "लाल किताब" बनेगी। उन्होंने कहा कि भ्रष्टाचार और कांग्रेस के अन्य राज को अपने अंदर कृत किए हुए यह "लाल डायरी" कांग्रेस के काले चिट्ठों का संग्रहण न बन जाए।
सतीश पूनिया ने कहा कि लाल डायरी से सरकार क्यों घबरा रही है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत क्यों घबरा रहे हैं। राजस्थान की जनता लाल डायरी का राज जानना चाहती है। एक कहावत है चोर चोरी से जाए लेकिन सीनाजोरी से नहीं जाए, राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार पिछले 5 वर्षों से ऐसा ही कर रही है। कांग्रेस की ही सरकार के, कांग्रेस के मंत्रिमंडल के सदस्य जब सरकार पर सवाल खड़े करते हैं तो सरकार अपना जनमत खो चुकी होती है, क्योंकि यह उधार का और जुगाड़ का जनमत था।
जो बसपा के लोगों के मर्जर से हुआ और 13 निर्दलीयों के समर्थन से हुआ। विधायक वासुदेव देवनानी ने कहा कि जिस लाल डायरी से पूरी कांग्रेस बोखलाई हुई है। उसका काला सच सबके सामने नहीं आए। इसके लिए षड़यंत्रपूर्व सदन में विधायक राजेन्द्र गुढ़ा को पीटा गया। यह घटना साबित करमी है कि कांग्रेस किसी की सगी नहीं है।
विस की घटना को लोकतांत्रिक नहीं कहा जा सकता- राजे
वसुंधरा राजे ने ट्वीट कर कहा कि विधानसभा में जो हुआ, उसे लोकतांत्रिक नहीं कहा जा सकता। क्या लोकंतंत्र में चुने हुए विधायकों को भी बोलने का हक नहीं है? लगता है डायरी लाल है, लेकिन इसमें सरकार के कारनामें काले हैं। वरना सरकार दो विधायकों से इतनी खफा क्यों होती?
Published on:
24 Jul 2023 08:16 pm
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