
जयपुर/पत्रिका। राजधानी जयपुर में पेयजल उपभोक्ताओं की शिकायतें बढ़ती ही जा रही हैं क्योंकि पानी के बिलों का वितरण व्यवस्था को नई फर्म भी पटरी पर नहीं ला सकी। उपभोक्ताओं को पानी के बिल तो मिल रहे हैं, लेकिन चेक या नकद जमा कराने की अंतिम तिथि पर ही मिल रहे हैं। इससे जयपुर के कई इलाकों में हजारों पेयजल उपभोक्ता परेशान हो रहे हैं। उधर, जलदाय इंजीनियर नई फर्म के द्वारा बिलों के वितरण में की जा रही मनमानी को लेकर चुप्पी साधे बैठे हैं।
जलदाय विभाग का कहना है कि ग्राहकों के मोबाइल फोन पर पानी के बिल पहुंचाने में अभी कुछ समय लगेगा, लेकिन उपभोक्ता अब बिल की डुप्लिकेट कॉपी लेने के लिए निकटतम सर्कल कार्यालय में जा सकते हैं और भुगतान भी कर सकते हैं।
जलदाय विभाग के अधिकारी ने बताया कि जयपुर में 4,25,000 पीएचईडी उपभोक्ताओं में से कई उपभोक्ताओं ने घर पर बिल समय पर नहीं मिलने की शिकायत की थी। उपभोक्ताओं की इसी समस्या को ध्यान में रखते हुए पीएचईडी ने बिलिंग सॉफ्टवेयर विकसित करने का निर्णय लिया था, ताकि जेनरेटेड बिल उपभोक्ताओं के मोबाइल नंबर पर एसएमएस के रूप में पहुंच सके, हालांकि सिस्टम लगभग विकसित हो चुका है, लेकिन हमें इसे एक्टिव करने के लिए कुछ समय चाहिए। हमारे पास पंजीकृत कई उपभोक्ताओं, विशेष रूप से पुराने उपभोक्ताओं के मोबाइल नंबर नहीं हैं और कुछ नंबर पुराने हैं जो उपयोग में नहीं हैं। हमारी टीम के इंजीनियर डेटा को अपडेट कर रहे हैं।
उपभोक्ताओं के पुराना बिल मिलना भी परेशानी मुश्किल
पुराने सॉफ्टवेयर के तहत उपभोक्ताओं के पुराना बिल मिलना भी परेशानी भरा था। पेयजल उपभोक्ता को कोड नंबर या फिर खाता नंबर लेकर नजदीकी सहायक अभियंता के कार्यालय में जाना पड़ता था। वहां के अधिकारी रिकॉर्ड बुक देखकर उन्हें पूर्वनिर्धारित टाइप किए गए प्रारूप पर हाथ से लिखा हुआ बिल देते थे या आउटसोर्स बिलिंग एजेंसी से डुप्लिकेट बिल जारी करने की मांग करते थे।
विद्याधर नगर क्षेत्र में बुधवार को फर्म की बेपटरी बिलिंग व्यवस्था देखने को मिली। उपभोक्ताओं के पास छह महीने के बाद पानी के बिल पहुंचे। चेक और नकद भुगतान की अंतिम तारीख देखी तो पैरों तले जमीन खिसक गई। बिल में चेक से भुगतान की आखिरी तिथि बुधवार को ही थी। वहीं नकद जमा कराने की अंतिम तारीख 7 जुलाई है।
Published on:
06 Jul 2023 02:53 pm
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