जयपुर

Pollution Alert: ऐसा क्या हुआ कि जयपुर का प्रदूषण रेड जोन में, जोधपुर का भी बिगड़ा हाल

Pollution Alert: जयपुर. पिछले कुछ दिनों से जयपुर में प्रदूषण की स्थिति रेड जोन में हैं। ऐसे में खांसी के साथ ही अन्य बीमारियां बढ़ने का खतरा बढ़ गया है।

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Oct 27, 2022
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जयपुर. पिछले कुछ दिनों से जयपुर में प्रदूषण की स्थिति रेड जोन में हैं। ऐसे में खांसी के साथ ही अन्य बीमारियां बढ़ने का खतरा बढ़ गया है।
कोरोना काल के बाद इस साल दीपोत्सव के सबसे बड़े पर्व दिवाली में चहुंओर खुशियां परवान पर रही है। इस बीच शहरवासियों ने लक्ष्मी पूजन, गोवर्धन पूजा के बाद जमकर पटाखे फोड़े, आतिशबाजी की। आसमां में सतरंगी आतिशबाजी के साथ ही तेज आवाज वाले पटाखों की आवाजें बुधवार को भी जारी रही। इस बीच पटाखों, आतिशबाजी के धुएं से एक बार फिर से राजधानी की आबोहवा यानि वायु प्रदूषण का स्तर पूरी तरह से बिगड़ा हुआ नजर आ रहा है।
हवा में ठंडक के साथ ही धुंध छाई नजर आई। जेएलएन मार्ग, वैशालीनगर, मालवीय नगर, मानसरोवर, सांगानेर, जगतपुरा, सीकर रोड, दिल्ली रोड, परकोटा, शास्त्रीनगर में कमाबेश यही हालात दिखे। विशेषज्ञों की मानें तो पटाखें के साथ ही इसके पीछे का कारण मौसम में बदलाव भी है। धुएं में पीएम 2.5, पीएम 10 का स्तर वायु प्रदूषण को बढ़ाने में अहम है।
दीपोत्सव के पहले दिन यानि 22 अक्टूबर को धनतेरस पर वायु गुणवत्ता सूचकांक यानि एक्यूआई का स्तर जहां औसतन 160 के आसपास था। वहीं अब यह 40 प्रतिशत तक बढ़ गया है। जयपुर का वायु प्रदूषण का औसत स्तर इस साल दिवाली के बाद 310 एक्यूआई तक पहुंच गया। कुछ जगहों पर यह स्तर बेहद खराब स्थिति में नजर आया। ग्रीन जोन, यलो जोन में रहने वाली राजधानी सात दिनों में फिर से रेड, ओरेंज जोन में पहुंच गई है। जयपुर में परकोटे समेत बाहरी जगहों और राजस्थान के अन्य शहरों में हवा पूरी तरह से पटाखों के साथ ही मौसम की मार से दूषित हो गई है। जयपुर में कुछेक जगहों पर हालात काफी खराब दिखे। चिकित्सकों के मुताबिक अस्थमा रोगी पूरी तरह से मास्क लगाकर रहें, छोटे बच्चे, बुजुर्ग घरों से बाहर न निकलें।


ऐसे समझें आंकड़ों को

जगह-वर्तमान स्तर-आठ दिन पहले
भिवाड़ी - 340 - 285
जोधपुर - 310 - 202
अलवर - 160 - 90
अजमेर - 260 - 128
कोटा - 240 - 135
पाली - 260 - 125


जयपुर में स्थिति
जेएलएन मार्ग - 390 - 230
मालवीय नगर - 330 -240
वैशालीनगर - 410 - 280
आदर्शनगर, राजापार्क - 262 - 140
पुलिस कमीश्नरेट, एमआईरोड - 310 - 160
शास्त्रीनगर, बनीपार्क - 240 - 165
सांगानेर - 290 - 210
आगरा रोड - 280 - 195
हाइकोर्ट - 287 - 210

नोट— एक्यूआई यानि एयर क्वालिटी एंडेक्स के यह औसत आंकड़े बुधवार रात दस बजे तक बीते 24 घंटे के आधार पर हैं।


यह है मानक
0 से 50 -अच्छी
51 से 100-संतोषजनक
101 से 200-मॉडरेट यानि न थोड़ा खराब
201-300- खराब
301-400-बहुत खराब
401-500-गंभीर
500 से ऊपर- आपातकालीन स्थिति

इस पर अपील का असर दिखा बेअसर
बीते साल वायु प्रदूषण को लेकर राजस्थान में पटाखों को बेचने और जलाने पर प्रतिबंध लगाया था। लेकिन इस बार प्रदेश में इस तरह की सख्ती नहीं की गई है। राज्य प्रदूषण नियंत्रण मंडल की ओर से हालांकि आमजन से पटाखे न जलाने की अपील की गई पर यह अपील ही नजर आमजन के लिए बेअसर रही। इधर जिम्मेदार महकमे पुलिस, जिला प्रशासन की ओर से दुकानों पर ग्रीन पटाखे चैकिंग को लेकर सख्ती नहीं की गई। इस कारण से आमजन ने तेज आवाज, ज्यादा रोशनी वाले डमी पटाखे जलाए।

बीते साल के आंकड़े
राज्य प्रदूषण नियंत्रण मंडल के आंकड़ों के मुताबिक जयपुर में 2019 में जहां शहर का औसत वायु प्रदूषण का स्तर सामान्यतया एक्यूआई 250 के पार दर्ज किया गया। वहीं कोरोना की वजह से 2020 में यह 150 के आसपास रहा। 2021 में शहर का औसत स्तर 220 के आसपास रहा। वहीं इस साल 2022 में यह औसत स्तर अभी से 310 तक पहुंच चुका है। ऐसे में आगामी दिनों में यह चिंताजनक बात है कि इस साल शहरवासियों ने जमकर पटाखे फोड़े। इस बीच वाहनों से निकलने वाले धुएं के साथ ही निर्माण कार्य इस साल ज्यादा होना भी प्रदूषण के तत्वों को बढ़ाने के मुख्य घटक रहे।

Updated on:
27 Oct 2022 02:02 pm
Published on:
27 Oct 2022 11:51 am
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