
उप निरीक्षक पेपर लीक मामले में एसओजी ने राजस्थान लोक सेवा आयोग (RPSC) के पूर्व सदस्य रामूराम राईका को रविवार को गिरफ्तार कर लिया है। इससे पहले रायका के बेटा-बेटी सहित पांच प्रशिक्षु थानेदारों को अनुसंधान के बाद गिरफ्तार किया। आरोपियों को रविवार को न्यायाधीश के समक्ष पेश किया, जहां से पांचों को 7 सितम्बर तक एसओजी की रिमांड पर सौंपा गया है।
एडीजी वी.के. सिंह ने बताया कि प्रशिक्षु थानेदारों में सोडाला में बृज कॉलोनी निवासी शोभा राईका, उसका भाई देवेश राईका, मूलत: श्रीगंगानगर के रामसिंहपुरा हाल चूरू के पोटी निवासी मंजू देवी जाट, जयपुर ग्रामीण के शाहपुरा निवासी अविनाश पलसानियां व झुंझुनूं के चिड़ावा निवासी विजेन्द्र जाट को गिरफ्तार किया।
उन्होंने बताया कि आरोपियों से पूछताछ में सामने आया कि मंजू देवी, अविनाश व विजेन्द्र को उप निरीक्षक भर्ती परीक्षा का पेपर वांटेड चल रहे यूनिक भांभू और गिरफ्तार हो चुके शेरसिंह मीणा ने उपलब्ध करवाया था। जबकि इस संबंध में आरपीएससी के पूर्व सदस्य के बेटा-बेटी से पूछताछ की जा रही है।
एसओजी सूत्रों के मुताबिक आरपीएससी के पूर्व सदस्य ने बेटा-बेटी के लिए परीक्षा से पहले पेपर की व्यवस्था की या फिर बेटा-बेटी ने पेपर लीक करने वाले गिरोह से संपर्क कर प्राप्त किया, एसओजी की पूछताछ के बाद ही इसका खुलासा हो सकेगा।
सूत्रों के मुताबिक, उप निरीक्षक भर्ती परीक्षा पेपर लीक मामले में अब तक आरपीएससी के पूर्व सदस्य के बेटा-बेटी, पुलिस अफसर का बेटा, हिस्ट्रीशीटर की बेटी, कई रसूखदारों से संपर्क रखने वाले प्रशिक्षु थानेदार गिरफ्तार हो चुके हैं। बताया जाता है कि अब भी थानेदार का प्रशिक्षण लेने वालों में कई रसूखदारों के परिचित हैं, जिसके चलते परीक्षा को रद्द करने में परेशानी हो रही है।
एंटी चीटिंग सैल के एएसपी राम सिंह शेखावत के नेतृत्व में एएसपी चिरंजीलाल, महावीर सिंह, उपाधीक्षक शकील अहमद, शिवकुमार भारद्वाज, नियाज मोहम्मद, निरीक्षक मनीष चारण, मुकेश कुमार, एकता राज, गुरमेल सिंह, सीमा पठान
-आरएएस-2013 में पेपर लीक और प्रिंटिंग प्रेस तक पहुंचने के कारण पूर्व चेयरमैन हबीब खान गौरान घिर गए। यह परीक्षा सरकार-आयोग को निरस्त करनी पड़ी। आंदोलन और दबाव के चलते 2014 में गौरान को इस्तीफा देना पड़ा था।
-आरएएस 2018 के साक्षात्कार 2021 में कराए गए। इस दौरान एसीबी ने तत्कालीन लेखाधिकारी सज्जनसिंह गुर्जर को एक लाख की नकदी और 22 लाख के डमी नोट के साथ ट्रैप किया था।
-वरिष्ठ अध्यापक भर्ती-2022 के पेपर लीक मामले में एसओजी ने 18 अप्रेल 2023 को आयोग के निलंबित सदस्य बाबूलाल कटारा, बर्खास्त ड्राइवर गोपाल सिंह और विजय कटारा को गिरफ्तार किया था। सवा साल में भी कटारा को बर्खास्त नहीं किया जा सका है।
-अधिशाषी अधिकारी भर्ती परीक्षा-2022 घूसकांड मामले में एसीबी ने 12-13 मार्च को दो सदस्यों से पूछताछ की थी। इस मामले में 18.50 लाख रुपए के साथ एसीबी ने गोपाल केसावत, अनिल कुमार, ब्रह्म प्रकाश को पकड़ा था।
-आरएएस 2018 के साक्षात्कार में दो अभ्यर्थियों को 80-80 अंक दिए जाने का मामला उछला था।
-गौरान के कार्यकाल में पुत्री का आरजेएस में चयन होने पर विवाद बढ़ा। सरकार ने आयोग से आरजेएस परीक्षा छीनकर हाईकोर्ट को सौंपी।
-सीआर चौधरी के सदस्य-अध्यक्ष के कार्यकाल के दौरान हुई विभिन्न भर्तियाें पर भी सवाल खड़े हुए थे।
Published on:
02 Sept 2024 07:30 am
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