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नई तकनीक : सूरज उगते ही ऑफ होंगे स्ट्रीट लाइट व बाहर के बल्ब , विकलांगो ने बनाया ये डिवाइस

CG News Update : इस केन्द्र के विकलांग अब एक ऐसा डिवाइस बना रहे हैं, जो बिजली के बेवजह खर्च को नियंत्रित करेगी।

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नयी तकनीक : सूरज उगते ही ऑफ होंगे स्ट्रीट लाइट व बाहर के बल्ब , विकलांगो ने बनाया ये डिवाइस

नयी तकनीक : सूरज उगते ही ऑफ होंगे स्ट्रीट लाइट व बाहर के बल्ब , विकलांगो ने बनाया ये डिवाइस

CG News Update : जिला प्रशासन के सहयोग से विकलांगों को आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाने के लिए संचालित किए जा रहे डिजि-बल्ब केन्द्र की प्रशंसा देश के प्रसिद्व उद्योगपति आनंद महेंद्रा भी कर चुके हैं। इस केन्द्र के विकलांग अब एक ऐसा डिवाइस बना रहे हैं, जो बिजली के बेवजह खर्च को नियंत्रित करेगी। (CG News Today) बता दें कि जशपुर में जिला प्रशासन के सहयोग से संचालित किए जा रहे इस केन्द्र में प्रदेश के जशपुर और राजनांदगांव जिले के 20 विकलांगों को एलईडी बल्ब, ब्लूटूथ स्पीकर, पावर बैंक, सोलर लालटेन और एनर्जी सेविंग उपकरण जैसे उपकरणों को असेंबल करने का प्रशिक्षण दे कर, उत्पाद तैयार कराया जा रहा है।

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दो साल में केंद्र ने किया 7 लाख का व्यवसाय

जिला कौशल विकास के सहायक संचालक प्रकाश यादव ने बताया कि यूनिसेफ और खनिज न्यास निधि (डीएमएफ) के सहयोग से वर्ष 2020 में शुरू किया गया था, लेकिन कोरोना संकट आ जाने से केन्द्र में प्रशिक्षण का काम प्रभावित हुआ लेकिन अब इसे पूरी तरह से शुरू कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि बीते दो साल के दौरान केन्द्र ने साढ़े 7 लाख रुपए का व्यवसाय कर लिया है। अब यह केन्द्र अपने व्यवसाय के बूते ही संचालित हो रहा है। (CG Breaking News) हर माह कार्यरत विकलांग कर्मियों को न्यूनतम 5 हजार रुपए का मानदेय दिया जाता है। केंद्र में रहने और खाने की सुविधा भी है।

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नए डिवाइस से बिजली बिल और उर्जा की होगी बचत

जिला मुख्यालय जशपुर में संचालित इस केन्द्र के दिव्यांगजन अब एक ऐसा एनर्जी सेवर डिवाइस तैयार करने में जुटे हुए हैं, जो दिन के उजाले में सड़क और सरकारी भवनों में जलने वाली बिजली पर लगाम कसेगी। (CG News) कुणाल गुप्ता ने बताया कि इस डिवाइस में एक विशेष सेंसर लगा रहेगा। यह सेंसर सूर्य की किरणों को रीड करेगा। संबंधित भवन या स्ट्रीट लाइट से जुड़ा यह डिवाइस सूर्योदय होते ही ऑटोमैटिक सिस्टम से बल्ब को बुझा देगा। इससे बिजली बिल में कमी तो आएगी ही, साथ ही बेशकीमती उर्जा की बचत भी हो सकेगी।

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हाथों-हाथ बिक जाता है उत्पाद

सहायक संचालक प्रकाश यादव ने बताया, केन्द्र में तैयार किए गए उत्पादों को बाजार में बेचने के लिए सरकारी उपक्रम सी मार्ट के साथ विभिन्न सरकारी आयोजनों में स्टाल लगाने के साथ ही जिले के शासकीय स्कूल, छात्रावास, होटल जैसे बड़े निर्माण कार्य की परियोजना से जुड़े लोगों से संपर्क कर उत्पाद बेचा जाता है।(CG News in Hindi) डिजि-ब्लब केंद्र के उत्पादों को बेचने के लिए पोर्टल भी तैयार किया गया है। एलईडी बल्ब में ब्रांडेंड कंपनियों की तरह ही 1 साल की वारंटी दी जाती है।