
Women in Mines
केंद्र सरकार ने खदानों में महिलाओं की नियुक्ति करने की अधिसूचना जारी कर दी है जिसके बाद महिलाओं को भी खनन कार्य में रोजगार के अवसर उपलब्ध हो गए हैं। केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्रालय ने सोमवार को बताया कि सरकार के इस कदम से महिला सशक्तिकरण को प्रोत्साहन मिलेगा और उनको खनन क्षेत्र में रोजगार के समान अवसर उपलब्ध होंगे। अधिसूचना के अनुसार, कंपनियां या नियोक्ता को खदानों में महिला कर्मचारियों की अनुमति दे दी गई है। महिलाओं की नियुक्ति खदान के भीतर तथा खदान के ऊपर की जा सकती है। जमीन के ऊपर महिलाओं को शाम सात बजे से सुबह छह बजे तक भी तैनात किया जा सकता है। खदान के भीतर महिलाओं की नियुक्ति सुबह छह बजे से शाम सात तक ही की जा सकती है।
नियोक्ताओं को महिलाओं की तैनाती करने से पहले सुरक्षा एवं संरक्षा के उपाय करने होंगे और संबंधित महिला कर्मचारी की लिखित सहमति लेनी होगी। महिलाओं की तैनाती कम से कम तीन महिलाओं के समूह में की जाएगी। यह अधिसूचना खनन अधिनियम 1952 में बदलाव के बाद जारी की गई है। अधिसूचना के अनुसार महिलाओं की तैनाती गैर जोखिम वाले कार्य तथा क्षेत्र में की जाएगी। खदान के भीतर महिलाओं की नियुक्ति अनियमित कार्य के लिए की जा सकती है। इसमें तकनीकी, प्रबंध और निगरानी जैसे कार्य शामिल हैं।
महिलाओं की खदान में नियुक्ति संबंधित सुरक्षा अधिकारी की अनुमति पर निर्भर करेगी। श्रम एवं रोजगार मंत्रालय को महिलाओं को खदानों में तैनात करने के अनुरोध विभिन्न महिला कर्मचारी संगठनोंं, उद्योग तथा छात्रों से प्राप्त हुए थे। खनन मंत्रालय ने भी महिलाओं को खदान क्षेत्रों में तैनात करने की अनुमति देने का अनुरोध किया था। इसके बाद श्रम एवं रोजगार मंत्रालय ने इस अनुरोध पर विचार करने के लिए एक समिति का गठन किया और इसकी सिफारिशों के आधार पर महिलाओं को भी खदानों में तैनात करने की अनुमति देने का फैसला किया। इसके लिए गृह मंत्रालय, महिला एवं बाल विकास मंत्रालय, खनन मंत्रालय, कोयला मंत्रालय और प्राकृतिक गैस एवं तेल मंत्रालय से व्यापक स्तर पर विचार विमर्श किया।
Published on:
04 Feb 2019 01:53 pm
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