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कम्पाउंडर व महिला का पति उसे अचेतावस्था में भारत विकास परिषद चिकित्सालय लेकर गए, जहां चिकित्सक ने उसे मृत घोषित कर दिया। इसके बाद परिजन शव एमबीएस अस्पताल लेकर गए। जहां पुलिस ने शव मोर्चरी में रखवा दिया। मृतका के पति ने अस्पताल चौकी में शिकायत दी तो फर्जी डॉक्टर बनकर इलाज कर रहा कम्पाउंडर रामवतार वहां से भाग गया। उसके साथ अस्पताल में आए उसके दो पुत्रों को लोगों ने पकड़कर पीट दिया और पुलिस के हवाले कर दिया।
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ककरावदा में चलाता था क्लिनिक
सत्यनारायण ने बताया कि रामवतार पहले ककरावदा में निजी क्लिनिक चलाता था। इस कारण उसकी उससे जान पहचान थी। बाद में उसने शास्त्री नगर दादाबाड़ी में निजी क्लिीनिक खोल लिया। वह 14 मार्च को भी पत्नी को क्लिनिक लाया था। उस समय कम्पाउंडर ने कहा था कि चार दिन बाद दिखाने आना। OMG: कोटा में ये क्या हो रहा कि सवारियां बिठाने से कतरा रहे ऑटो चालक
वह सोमवार को पत्नी को दिखाने गया था। सत्यनारायण ककरावदा में किराने की दुकान चलाता है। उसके 9 साल का बेटा भी है। पुलिस ने रामवतार की शिकायत पर जांच शुरू कर दी है। महिला की मौत की सूचना पर परिजन एमबीएस के पोस्टमार्टम रूम के बाहर जमा हो आए और विलाप करते रहे।