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कच्ची शराब परिवहन करना पड़ा भारी, पिता व पुत्रों को जाना पड़ा जेल

लॉक डाउन मेंं जंगल के रास्ते कच्ची शराब का परिवहन करना धांगड़मऊकला के पिता व पुत्रों को भारी पड़ गया। तीनों को पुलिस ने दबोच लिया। उन्हें न्यायालय में पेश किया, जहां से उन्हे जेल भेज दिया। पुलिस ने तीनों के कब्जे से छह जरीकेन में 145 लीटर कच्ची शराब जप्त की है, जिसे पुलिस ने नष्ट कर दिया है।

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कोटा

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DILIP VANVANI

May 07, 2020

कच्ची शराब परिवहन करना पड़ा भारी, पिता व पुत्रों को जाना पड़ा जेल

कच्ची शराब परिवहन करना पड़ा भारी, पिता व पुत्रों को जाना पड़ा जेल

रावतभाटा. लॉक डाउन मेंं जंगल के रास्ते कच्ची शराब का परिवहन करना धांगड़मऊकला के पिता व पुत्रों को भारी पड़ गया। तीनों को पुलिस ने दबोच लिया। उन्हें न्यायालय में पेश किया, जहां से उन्हे जेल भेज दिया। पुलिस ने तीनों के कब्जे से छह जरीकेन में 145 लीटर कच्ची शराब जप्त की है, जिसे पुलिस ने नष्ट कर दिया है।
भैसरोडगढ़ थानाधिकारी गोपालकृष्ण परमार ने बताया कि पुलिस मंगलवार को गश्त करते लोठियाना गांव पहुंची। यहां पर जंगल से बाइक पर शराब परिवहन की सूचना मिली। ऐसे में पुलिस जप्ते ने सुखपुरा-धांगड़मऊकला की तरफ जाने वाले कच्चे रास्ते पर नाकाबंदी कर दी। नाकाबंदी के दौरान दो बाइकों पर तीन जने आते दिखाई दिए। वे पुलिस को देखकर भागने लगे लेकिन पुलिस ने उन्हें पकड़ लिया। एक जने ने अपना नाम धांगड़मऊकला निवासी सन्तू पुत्र आत्माराम कंजर बताया। उसके पास 25-25 लीटर क्षमता वाले चार जरीकेन थे, जिसमें 100 लीटर कच्ची शराब थी। दूसरी बाइक पर सवार युवकों ने अपने नाम अरविंद व सुनील कंजर बताया। दोनों ही संतू के पुत्र थे। उनके पास दो जरीकेन में 45 लीटर कच्ची मिली। पुलिस तीनों को पकड़कर थाने पर लेकर गई। पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि वह शराब को बेचने जा रहे थे। पुलिस ने तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया। उन्हें न्यायालय में पेश किया, जहां से उन्हें जेल भेज दिया।
दाम मिलते हैं अच्छे
आरोपियों ने पूछताछ में बताया कि लॉक डाउन के कारण अंंग्रेजी व देशी शराब नहीं मिल रही है। ऐसे में कच्ची शराब की मांग काफी ज्यादा है। उसके बाजार में दाम भी काफी अच्छे मिल जाते हैं। वह कच्ची शराब बनाकर पहले भी बेच चुके हैं।