बागी विधायकों पर होगी कठोर कार्रवाई
लोकसभा चुनावों के बाद समाजवादी पार्टी ने बगावत करने वाले विधायकों के खिलाफ कड़ा रुख अपनाने का फैसला किया है। पार्टी ने यूपी विधानसभा अध्यक्ष को पत्र लिखकर इन विधायकों की सदस्यता खत्म करने की प्रक्रिया शुरू करने का इरादा जताया है। बागी विधायकों में मनोज पांडेय, अभय सिंह, पूजा पाल, राकेश पांडे, राकेश प्रताप सिंह, विनोद चतुर्वेदी और आशुतोष मौर्य शामिल हैं। इन विधायकों ने राज्यसभा चुनावों में सपा के खिलाफ जाकर बीजेपी के पक्ष में क्रॉस वोटिंग की थी, जिससे बीजेपी को आठ सीटें मिली थीं और सपा को केवल दो सीटों पर ही संतोष करना पड़ा था।
राज्यसभा चुनाव में सपा को मिली थी करारी हार
फरवरी में हुए राज्यसभा चुनाव में उत्तर प्रदेश की 31 सीटों में से 10 सीटों पर चुनाव हुए थे। इस चुनाव में सपा के बागी विधायकों ने बीजेपी को समर्थन देकर उसकी जीत में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। इस कारण सपा को करारी हार का सामना करना पड़ा था।
सपा ने लोकसभा चुनाव में किया शानदार प्रदर्शन
हालांकि, लोकसभा आम चुनाव में समाजवादी पार्टी ने अब तक के अपने इतिहास में सबसे अच्छा प्रदर्शन करते हुए कुल 37 सीटें जीतीं। इस सफलता के पीछे सपा की जातीय गोलबंदी और यादव-मुस्लिम गठबंधन की रणनीति ने अहम भूमिका निभाई। धार्मिक मुद्दों से हटकर जातिगत समीकरणों पर ध्यान देने से सपा को यह सफलता मिली और पार्टी देश की तीसरी बड़ी पार्टी के रूप में उभरकर सामने आई है। समाजवादी पार्टी के इस कड़े कदम से पार्टी के अंदर अनुशासन बनाए रखने और भविष्य में किसी भी प्रकार की बगावत को रोकने का संदेश स्पष्ट रूप से दिया जा रहा है।