बहराइच में हालात खराब सबसे ज्यादा खराब स्थिति बहराइच की है। वहां नेपाल (Nepal Flood) में हो रही बारिश का असर देखा जा रहा है। सरयू नदी उफान पर है। जिले के शिवपुर ब्लॉक के 24 गांव बाढ़ के पानी से घिर गए हैं। मिहीपुरवा के तीन गांवों में पानी घुस गया है। घाघरा (Ghaghara) भी एक सेंटीमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ रही है। बाढ़ की आशंका को देखते हुए प्रशासन अलर्ट है।
बलरामपुर के कई गांव पानी से घिरे बलरामपुर में बारिश से पहाड़ी नाले में बाढ़ आ गई है। जिले के 30 से अधिक गांव पानी से घिर गए हैं। राप्ती नदी खतरे के निशान 103.620 से 88 सेंटीमीटर ऊपर बह रही है। तुलसीपुर-गौरा मार्ग सहित कई प्रमुख मार्गो पर आवागमन बाधित है। कुछ स्थलों पर नौका लगाकर ग्रामीणों के आवागमन की व्यवस्था की गई है।
बाराबंकी में तेजी से बढ़ रही घाघरा बाराबंकी में घाघरा नदी का जलस्तर दो सेंटीमीटर प्रति घंटे की दर से बढ़ रहा है। नदी की कटान रामनगर क्षेत्र के कचनापुर, कोरिनपुरवा, जियनपुरवा, सिरौलीगौसपुर के ग्राम टेपरा व तेलियानी में हो रही है। शारदा और गिरजा बैराज से नदी में डेढ़ लाख क्यूसेक पानी छोड़े जाने की सूचना से अधिकारी तटवर्ती गांवों में नजर बनाए हुए हैं। एक-दो दिन में जलस्तर खतरे के निशान को पारकर सकता है।
श्रावस्ती में उफनाई राप्ती श्रावस्ती में राप्ती नदी खतरे के निशान से पांच सेंटीमीटर ऊपर बह रही है। नदी का जलस्तर लगातार तेजी से बढ़ रहा है। कई अन्य प्रमुख रास्तों पर आवागमन ठप हो गया है। पानी राप्ती बैराज पर खतरे के निशान से 25 सेंटीमीटर ऊपर पहुंच गया। जलस्तर बढ़ने से बाढ़ की आशंका को देखते हुए प्रशासन ने तटवर्ती गांवों में सतर्क रहने की चेतावनी जारी करा दी है।
गोंडा में भी बिगड़े हालात गोंडा में घाघरा नदी खतरे के निशान छूने को बेताब है। नदी का जलस्तर खतरे के निशान से केवल 20 सेंटीमीटर नीचे रह गया है। जो बहुत जल्द पार होने की पूरी संभावना है। घाघरा नदी में पानी का स्तर जैसे-जैसे बढ़ रहा है, वैसे-वैसे नदी कहीं खेतों में कटान कर रही है। तो कहीं बांध से सटकर बहने लगी है।
सरयू का तांडव अयोध्या में सरयू नदी ने चेतावनी निशान को पार कर दिया है। नदी का जलस्तर 91.86 मीटर दर्ज किया गया, जिससे तटवर्ती इलाकों में हड़कंप मच गया है। सरयू नदी का पानी अगले एक-दो दिनों में खतरे का निशान छू सकता है। जिससे मांझा क्षेत्र और तटवर्ती इलाकों में रहने वाली आबादी पर बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है। लोग पलायन को मजबूर हैं।
एक-दो दिन में खतरे का निशान पार करेगी घाघरा अगर पानी बढ़ने की यही रफ्तार रही तो घाघरा का पानी खतरे के निशान को एक-दो दिन में पार कर सकता है। नदी में उफान बढ़ने से तराई के लोगों में हड़कंप मच गया है। तटवर्ती गांवों के लोग डर के कारण सुरक्षित स्थानों पर जाने लगे हैं। तटवर्ती गांव सबसे पहले बाढ़ की चपेट में आते हैं। इसलिए ग्रामीण गृहस्थी के सामानों के साथ अपने मवेशियों को भी सुरक्षित स्थानों पर भेज रहे हैं।
गोमती नदी (Gomti River) में बाढ़ गोमती नदी में बाढ़ के कारण लखनऊ से सटे बीकेटी और इटौंजा के लगभग 12 गांव प्रभावित होने के कगार पर हैं। इसमे जमखनवां, जमखनवां का पुरवा, दुघरा, अचलपुर, अकरडिया खुर्द, अकरडिया कला, लाशा, सुल्तानपुर, बहादुरपुर, मल्लाहन खेड़ा, चंद्रिका देवी तीर्थस्थल समेत कई जगहें शामिल हैं।
सीएम योगी ने किया सतर्क उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एनडीआरएफ (NDRF) तथा बाढ़ के दौरान बचाव एवं राहत कार्य से जुड़ी अन्य सभी एजेंसियों को बिल्कुल सतर्क रहने के निर्देश दिये हैं, ताकि वे उत्पन्न स्थिति से निपट सकें। यह निर्देश उन्होंने एक उच्च स्तरीय बैठक के दौरान दिये। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को बाढ़ से अबतक प्रभावित हुए इलाकों के साथ नियमित संपर्क में रहने का निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में जान-माल बचाने की सभी कोशिश होनी चाहिए।