8 दिसंबर 2025,

सोमवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

यूपी पंचायत चुनाव: कोई भी आरक्षण से नहीं रह जाएंगा वंचित, जानिये कौन सा गांव किस जाति के लिए होगा रिजर्व

योगी सरकार ने यूपी पंचायत चुनाव (UP Panchayat Chunav) में आरक्षण की तस्वीर साफ कर दी है। अब यूपी में होने वाले पंचायत चुनाव में कोई भी जातिगत आरक्षण से वंचित नहीं रह जाएगा

2 min read
Google source verification
यूपी पंचायत चुनाव: चार जिलों में नए सिरे से आरक्षण की व्यवस्था, जानिये कौन सा गांव किस जाति के लिए होगा रिजर्व

यूपी पंचायत चुनाव: चार जिलों में नए सिरे से आरक्षण की व्यवस्था, जानिये कौन सा गांव किस जाति के लिए होगा रिजर्व

लखनऊ. योगी सरकार ने यूपी पंचायत चुनाव (UP Panchayat Chunav) में आरक्षण की तस्वीर साफ कर दी है। अब यूपी में होने वाले पंचायत चुनाव में कोई भी जातिगत आरक्षण से वंचित नहीं रह जाएगा। मंगलवार को योगी सरकार ने कैबिनेट बाई सर्कुलेशन मंजूरी दे दी। प्रस्ताव के जरिये चक्रानुक्रम के तहत नया फार्मूला तय किया गया है। उक्त प्रावधान के तहत प्रदेश के चार जिलों गोण्डा, सम्भल, मुरादाबाद और गौतमबुद्धनगर में परिसीमन कानूनी अड़चनों की वजह से न हो पाने की वजह से 2010 के पंचायत चुनाव का आरक्षण लागू किया गया था। इस बार इन चारों जिलों में नए सिरे से परिसीमन करवाया गया है। इसी आधार पर अब चारों जिलों में नए सिरे से आरक्षण की व्यवस्था लागू होगी।

आरक्षण और आवंटन संबंधी 11वां संशोधन लाकर योगी कैबिनेट ने मंगलवार को अखिलेश सरकार द्वारा 2015 में लाया गया 10वां संशोधन समाप्त कर दिया है। अखिलेश सरकार ने 10वें संशोधन के तहत व्यवस्था की थी कि जहां पंचायतों का पुनर्गठन किया जाएगा, वहां आरक्षण के रोटेशन को शून्य मानते हुए नए सिरे से आरक्षण निर्धारित किया जाएगा। इस बार प्रदेश के सभी 75 जिलों में एक साथ पंचायतों के वार्डों के आरक्षण की नीति लागू होगी।

यह हुआ बदलाव

प्रदेश सरकार ने 2015 में हुए पंचायती चुनाव में तत्कालीन सपा सरकार द्वारा किए गए प्रावधान को हटा दिया है। अब तक चक्रानुक्रम से ऐसी कई पंचायतें बची रह गई थीं जिन्हें न तो ओबीसी के लिए आरक्षित किया गया और न ही अनूसुचित जाति के लिए। लिहाजा इस बार प्रदेश सरकार ने चक्रानुक्रम के तहत नई व्यवस्था लागू करने से पहले यह सुनिश्चित किया है कि आरक्षण तय करते समय इस बात का ध्यान रखा जाए कि वर्ष 1995 से अब तक के पांच चुनावों में कौन सी पंचायतें अनुसूचित जाति (एससी) व अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के लिए आरक्षित नहीं हो पाई हैं और इन पंचायतों में इस बार प्राथमिकता के आधार पर आरक्षण लागू किया जाए।

नए फैसले के तहत जो पंचायतें अब तक ओबीसी के लिए आरक्षित रहीं वह अब एससी के लिए आरक्षित होंगी। इसी तरह जो पंचायतें एससी के लिए आरक्षित रहीं वहां ओबीसी का आरक्षण होगा। इसके बाद जो पंचायतें बचेंगी, वह आबादी के घटते अनुपात में चक्रानुक्रम के अनुसार सामान्य वर्ग के लिए होंगी।

ये भी पढ़ें:त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव 30 अप्रैल तक पूरा करने का आदेश, चार पदों के लिए एक साथ डाले जाएंगे वोट

ये भी पढ़ें: योगी के मंत्री ने कसा प्रियंका गांधी पर तंज, कहा कार का शीशा नहीं अपना मुंह साफ करे कांग्रेस