
Kanpur Encounter: मजबूत है विकास दुबे का आर्थिक तंत्र, इस तरह हर साल करोड़ों का मुनाफा कमाता था मोस्ट वांटेड हिसट्रीशीटर, शुरू हुई संपत्ति की जांच
लखनऊ. कानपुर में आठ पुलिसकर्मियों की हत्या (Kanpur Encounter) के बाद उत्तर प्रदेश की पुलिस अपराधियों की धर पकड़ के लिए एक्शन में आ गई है। प्रशासन ने विकास दुबे (Vikas Dubey) की संपत्तियों की जांच शुरू कर दी है। कानपुर में उसके नाम सिर्फ डेढ़ बीघा जमीन निकली है। कानपुर देहात, लखनऊ समेत अन्य जिलों में भी संपत्तियों को खंगाला जा रहा है। उधर, यूपी पुलिस ने प्रदेश के अन्य आरोपियों पर भी शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। यूपी की जेलों से जुर्म का कारोबार चलाने वाले कुख्यात गैंगस्टर अनिल दुजाना और सुंदर भाटी और इनके गुर्गों की संपत्तियों पर पुलिस ने दो दिन में ताबड़तोड़ छापेमारी की है। पुलिस ने इनके पास से करोड़ों की कार, ट्रक, कोठी और जमीनें जब्त की हैं। अब तक पुलिस ने 11 करोड़ 35 लाख की संपत्ति जब्त की है।
संपत्ति होगी कुर्क
यूपी के मोस्ट वांटेड क्रिमिनल विकास दुबे पर ताबड़तोड़ कार्रवाई का सिलसिला शुरू हो गया है। प्रशासन के अफसरों के मुताबिक विकास के पिता रामकुमार के पास छह बीघा जमीन है। उसकी पत्नी, बच्चों व रिश्तेदारों के नाम से भी संपत्तियां तलाशी जा रही हैं। हिस्ट्रीशीटर के पास पुलिस व प्रशासन को काफी संपत्ति होने की उम्मीद है। उसने कई जमीनों पर कब्जा किया व कई दबंगई से खरीदी हैं। एडीएम फाइनेंस वीरेंद्र पांडे ने बताया कि विकास नहीं मिला तो उसकी संपत्तियों को जब्त कर कुर्क कराया जाएगा।
मजबूत है विकास दुबे का आर्थिक तंत्र
विकास दुबे का आर्थिक तंत्र काफी मजबूत रहा है। पुलिस की जांच में सामने आया है कि संपत्तियों के नाम पर वह मोटी रकम लेता था। खुद प्रॉपर्टी डीलिंग का काम करता था। विकास दुबे की सालाना 40-50 करोड़ रुपये की कमाई होती थी। पुलिस को यह भी जानकारी मिली है कि भाजपा नेता संतोष शुक्ला की हत्या के मामले में छूटने से पहले ही शहर के एक बड़े उद्योगपति को संदेश पहुंचवा दिया कि जेल के गेट पर नई लग्जरी गाड़ी चाहिए। तब उसे गाड़ी गिफ्ट भी की गई थी, जिसमें बैठकर वह अपने गांव गया था।
हर साल करोड़ों का मुनाफा
विकास दुबे संपत्ति खाली कराने में माहिर था। कानपुर, लखनऊ, कानपुर देहात में विवादित संपत्तियों को एक पक्ष से हाथ मिलाकर दूसरे पक्ष से खाली करवाने में विकास दुबे को महारत हासिल थी। पुलिस की जानकारी में सामने आया कि 1999 में एक मामले में अंधाधुंध फायरिंग और धमकियों के बल पर विकास दुबे ने संपत्ति खाली करवाई थी। विवादित संपत्तियों को खाली कराने और उन्हें बेचने में विकास दुबे को करोड़ों का मुनाफा होता था।
Published on:
06 Jul 2020 10:08 am
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