Earthquake News: कल यानी शुक्रवार की रात करीब साढ़े 11 बजे एक बार फिर से धरती में कंपन हुआ। एक हफ्ते पहले इस वर्ष का आखिरी चंद्रग्रहण लगा था। और इसी दिन आचार्य सत्‍येंद्र दास ने चंद्रगहण लगने की वजह से देश और दुनिया में भूकंप और तूफान आने की संभावना जताई थी।
Earthquake News: कल यानी शुक्रवार की रात करीब साढ़े 11 बजे एक बार फिर से धरती में कंपन हुआ। इस बार मामला तीव्र था। लोगों के बीच हलचल और डर का माहौल पैदा हो गया। लोग अपने अपने घरों से बाहर निकल आए और काफी देर तक सहमे हुए दिखे। बीती रात ये भूकंप का केन्द्रबिन्दु नेपाल का पैंक शहर था, जो उत्तर प्रदेश के गोरखपुर से करीब 250 किलोमीटर की दूरी पर है। इस भूकंप की तीव्रता 5.9 बताई जा रही है।
एक हफ्ते पहले इस वर्ष का आखिरी चंद्रग्रहण लगा था। और इसी दिन अयोध्या में श्रीरामजन्म भूमि के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने चंद्रगहण लगने की वजह से देश और दुनिया में भूकंप और तूफान जैसी विनाशकारी आपदाएं आने की संभावना जताई थी। और ऐसे में जब शुक्रवार की देर रात वास्तव में भूकंप आया तो लोग इस भविष्यवाणी को याद कर आश्चर्य में पड़ गए कि क्या सच में चंद्रग्रहण और भूकंप के बीच कोई कनेक्शन है? बता दें कि ऐसी जानकारी मान्यता पर आधारित होती है और 'पत्रिका उत्तर प्रदेश' इसकी पुष्टि नहीं करता है।
आचार्य और ज्योतिषाचार्य ने क्या बताया?
आचार्य सत्येंद्र दास ने चंद्रग्रहण वाले दिन चेतावनी देते हुए कहा था कि चंद्रग्रहण लगने की वजह से इसका प्रभाव विभिन्न राशियों पर पड़ता है। किसी पर सकारात्मक तो किसी पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। ज्योतिषाचार्य पंडित नरेन्द्र उपाध्याय कहते हैं कि चंद्रग्रहण के बाद भूकंप आने की आंशका रहती है। चंद्रमा जल तत्व है। चंद्रग्रहण जल और समुद्र को प्रभावित करता है।
ज्योतिषाचार्य ने आगे बताया कि पृथ्वी के नीचे भी प्रचुर मात्र में तरल पदार्थ हैं जिसमें अधिकांशत: पानी मौजूद होता है। और च्रद्रग्रहण के समय चंद्रमा धरती के सबसे अधिक करीब होता है। जिससे चंद्रमा का गुरुत्वाकर्षण बल समुद्री ज्वार को प्रभावित करता है और भूकंप का खतरा बढ़ जाता है। इससे पहले भी चंद्रग्रहण के समय भूकंप की आशंकाएं व्यक्त की जाती रही हैं और चंद्रग्रहण के बाद भूकंप आया है।