
मिर्जापुर का कलुआ बंदर
Mirzapur news: मिर्जापुर में बच्चों से लेकर बूढ़ों और महिलाओं को परेशान करने वाला कलुआ बंदर फिलहाल कानपुर जू में उम्र कैद की सजा काट रहा है। कानपुर जू के कर्मचारी कलुआ के बिगड़े हुए व्यवहार को लगातार सुधारने का प्रयास कर रहे हैं। कलुआ की परवरिश तांत्रिक के पास हुई थी इसीलिए कलुआ शराब और मांसाहार का शौकीन हो गया था।
कानपुर जू में कुछ समय बिताने के बाद कलुआ के व्यवहार में सुधार आया है। कलुआ बंदर अब शाकाहारी बन गया है। कानपुर जू के डॉक्टरों की माने तो कलुआ अब चना फल और सब्जियों को रहा है।
2016 में जंगल में छोड़ा गया था कलुआ
मिर्जापुर की मूल निवासी बताते हैं की 2016 में कलुआ को पड़कर वन में छोड़ गया था। लेकिन कुछ ही महीना के बाद कलुआ वन से भाग कर फिर मिर्जापुर में आ गया। और मिर्जापुर के लोगों से बदला लेने लगा। कलुआ बंदर दोबारा मिर्जापुर आने के बाद लगभग 250 लोगों को काट डाला जिसमें ज्यादातर महिलाएं और बच्चियों शामिल थी।
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2017 में कैद हुआ था कलुआ
कलुआ बंदर को मिर्जापुर से कानपुर जू के कर्मचारियों ने पकड़ा था और कानपुर जू में ही शिफ्ट कर दिया था। कानपुर जू के उपनिदेशक अनुराग सिंह बताते हैं की कलुआ अब शाकाहारी बनने की राह पर है। कलुआ के स्वभाव में बदलाव आया है। फिलहाल कलुआ उम्र कैद पिंजरे में कैद है।
महिलाओं को चुन-चुन के काटता था कलुआ
कलुआ बंदर महिलाओं और बच्चियों को चुन-चुन के काटा करता था। कलुआ तरह-तरह की आवाज भी निकलता था। कलुआ इतना भयावर हो गया था की महिलाओं के कपड़े नोचकर उनके कपड़ों को फाड़ देता था। इसके पीछे वजह बताई जाती है की कलुआ की परवरिश एक तांत्रिक के यहां हुई थी इसीलिए कलुआ का व्यवहार उग्र था।
तांत्रिक की मौत के बाद जब कलुआ बंदर आजाद हुआ तो वह मिर्जापुर और आसपास के क्षेत्र में आतंक मचाना शुरू कर दिया। जू प्रशासन और कर्मचारियों की माने तो कलुआ की आदतें बदलने पर उसकी उम्र कैद की सजा को माफ किया जा सकता है।
Published on:
11 Sept 2023 04:42 pm
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